(ii) मुझ कर्ण का करतव्य दृढ़ है माँगने आये जिसे।
निज हाथ से झट काट अपना शीश भी देना इसे।
बस, क्या हुआ फिर अधिक, घर पर आ गया अतिथि विरने।
हूँ दे रहा कुण्डल तथा तन प्राण ही अपना इसे।
is chand me kon sa ras h
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इन पंक्तियों में कर्न के साहस और वीरता प्रमाण है। अतः यहां वीर रस है।
It is important question dude. It was came in 2018 board exams.
Hope it helps.
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