ईदगाह कहानी मुंशी प्रेमचन्द द्वारा लिखित कहानी है। जिसमें भारत की साझी संस्कृति, एवं ग्रामीण जीवन की झलक दिखाई देती है?
Answers
निम्न लिखित प्रसंग ईद के अवसर पर ग्रामीण समाज की ख़ुशी को प्रकट करता है-
ईद के त्योहार के आने की खुशी में ग्रामीण समाज ही नहीं अपितु वातावरण भी सुहाना लग रहा है। चारों ओर रौनक लगी हुई है। सभी उत्साह और उल्लास के साथ ईद की तैयारियों में लगे है। गाँव के स्त्री पुरुष बच्चे हर वर्ग में ईद त्योहार का उल्लास दिखाई दे रहा है। लोग ईदगाह जाने की तैयारी कर रहे है। कोई कुरते में बटन लगा रहा है तो कोई कडे जूतों में तेल डालने के लिए तेली के घर से तेल ला रहा है। बैलों को जल्दी-जल्दी सानी-पानी दी जा रही है। सभी ने अपनी-अपनी क्षमता के अनुसार रोजा रखा है। बच्चे खुशी-खुशी मेले में जाने की तैयारी कर रहे है। मेले में खिलौने तथा मिठाई खरीदने के लिए पैसे गिने जा रहे है। इस प्रकार गाँव में ईद के अवसर पर उल्लास देखते ही बनता है।
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प्रस्तुत प्रश्न में ईद जैसे महत्वपूर्ण त्योहार को आधार बनाकर ग्रामीण पृष्ठभूमि में मुस्लिम संस्कृति एवं जीवन का चित्रांकन किया गया है। ईद के अवसर पर गाँव के लोगों की ख़ुशी देखने योग्य होती है। उस दिन सभी एक दूसरे को बधाई दे रहे होते हैं और नये कपड़े और जुत्ते पहनते हैं। गृहिणियां दूध की मीठी सेवेइयाँ बनाती हैं। चारों तरफ ख़ुशी और चहलपहल का माहौल होता है।