Hindi, asked by vandanachahar7, 9 months ago

जिसको न अपनी जाति के उत्थान का अरमान है,
जिसको न अपनी जन्मदा शुचि भूमि का अभिमान
जिसको न अपनी मातृ-भाषा का हृदय से मान है,
जिसको न अपनी दीनता पर खेद, शोक महान है,
जसको न निज गौरव तथा निज देश का अभिमा
ह नर नहीं नर-पशु निरा है और मृतक समान​

Answers

Answered by mahilal58
0

Answer:

Wow very beautiful line

Answered by abhishekchakravarti2
0

Answer:

कवि ने देश का अभिमान किसे बताया है

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