जातीय - क्षेत्र संबंध में समाश्रयण (रिग्रेशन) की ढलान का क्या महत्त्व हैं?
Answers
जातीय - क्षेत्र संबंध में समाश्रयण (रिग्रेशन) की ढलान का महत्त्व :
किसी भी दिए गए क्षेत्र की जातीय समृद्धि अन्वेषण क्षेत्र के साथ केवल एक हद तक ही बढ़ सकती है। इसके अनुसार जाति समृद्धि के मध्य संबंध एक आयताकार अतिपरवलय (rectangular hyperbola) के रूप में परिलक्षित होता है।
लघुगणकीय पैमाने (Logarithmic scale) पर यह संबंध एक सीधी रेखा के रूप में दर्शाया जा सकता है , जिसका समीकरण निम्नवत है -
log S = log C + Z log A
S = जाति समृद्धि (species richness)
A = क्षेत्र (Area)
C = समाश्रयण या रेखीय ढाल (regression coefficient)
Z = अन्त: खंड (intercept)
परिस्थितिक वैज्ञानिकों (Ecologists)के अनुसार, Z का मान 0.1- 0.2 परास में होता है। यह वर्गिकी समूह या क्षेत्र पर निर्भर नहीं करता है।
उदाहरण : न्यूयॉर्क के मोलस्क, कैलिफ़ोर्निया के पक्षी या इंग्लैंड के पादप सभी के लिए Z का मान 0.1- 0.2 ही रहेगा तथा इनकी रेखीय ढलान समान ही रहेगी।
इसके विपरीत अगर हम किसी बहुत बड़े क्षेत्र जैसे पूरे महाद्वीप के जातीय क्षेत्र संबंधों का विश्लेषण करते हैं, Z का मान 0.6 - 1. 2 होता है।
उदाहरण : विभिन्न महाद्वीपों के उष्णकटिबंधीय जंगलों के फल खाने वाले पक्षियों व स्तनधारियों की रेखीय ढलान की माप 1.15 होती है।
आशा है कि यह उत्तर आपकी अवश्य मदद करेगा।।।।
इस पाठ (जैव-विविधता एवं संरक्षण) के सभी प्रश्न उत्तर :
https://brainly.in/question/15041082#
इस पाठ से संबंधित कुछ और प्रश्न :
उष्ण कटिबंध क्षेत्रों में सबसे अधिक स्तर की जाति-समृद्धि क्यों मिलती हैं? इसकी तीन परिकल्पनाएँ दीजिए?
https://brainly.in/question/15041164#
पारिस्थितिकीविद् किस प्रकार विश्व की कुल जातियों का आंकलन करते हैं?
https://brainly.in/question/15041141#
Explanation:
जातीय - क्षेत्र संबंध में समाश्रयण (रिग्रेशन) की ढलान का महत्त्व :
किसी भी दिए गए क्षेत्र की जातीय समृद्धि अन्वेषण क्षेत्र के