Jal se honi vali haniya
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गले की बीमारी (गलगण्ड) इस रोग में गले के बाहर सूजन आ जाती है जो धीरे धीरे बढ़ती जाती है ।गले में गिल्टियां होने लगती है हाथ पैरों में भी सूजन आ जाती है
हाथी पांव –पैरों में इतनी सूजन आ जाती है कि पैर हाथी के पांव की तरह मोटे तथा भारी हो जाते हैं।
टाइफाइड़-यह रोग दूषित जल से होता है इस रोग में बुखार तेज रहता है तथा तीन तार दिन तक रहता है इस कारण इसे पता लगाने में तीन चार दिन लग जाते है कि बुखार बुखार टाइफाइड़ का है या कोई अन्य फीवर है।
त्वचा रोग- दूषित जल पीने, नहाने या कपड़े धोने से भी त्वचा रोग हो सकता है।सामानयत:खुजली सूखी होती है।
दूषित जल को घर में ही शुद्ध कर सकते हैं
जब कोई और उपाय उपलब्ध न हो तो–
1.पानी को उबालकर पियें
2.पीने के पानी में फिटकरी का टुकडा घुमादे ,गंदगी नीचे बैठ जाएगी फिर मोटे कपडे से पानी को छान लें।
3.दूषित पानी में तुलसी के पत्तों को ड़ालकर रखें इसमें कीटाणु नष्ट करने की क्षमता होती है।
हाथी पांव –पैरों में इतनी सूजन आ जाती है कि पैर हाथी के पांव की तरह मोटे तथा भारी हो जाते हैं।
टाइफाइड़-यह रोग दूषित जल से होता है इस रोग में बुखार तेज रहता है तथा तीन तार दिन तक रहता है इस कारण इसे पता लगाने में तीन चार दिन लग जाते है कि बुखार बुखार टाइफाइड़ का है या कोई अन्य फीवर है।
त्वचा रोग- दूषित जल पीने, नहाने या कपड़े धोने से भी त्वचा रोग हो सकता है।सामानयत:खुजली सूखी होती है।
दूषित जल को घर में ही शुद्ध कर सकते हैं
जब कोई और उपाय उपलब्ध न हो तो–
1.पानी को उबालकर पियें
2.पीने के पानी में फिटकरी का टुकडा घुमादे ,गंदगी नीचे बैठ जाएगी फिर मोटे कपडे से पानी को छान लें।
3.दूषित पानी में तुलसी के पत्तों को ड़ालकर रखें इसमें कीटाणु नष्ट करने की क्षमता होती है।
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