Hindi, asked by Mdlagala21, 4 months ago

'कोरोना आपदा के समय में इंटरनेट का महत्व' विषय पर अनुच्छेद लिखिए
200 shabd​

Answers

Answered by jaindarshan296
0

Answer:

अगर एक भी बच्चा ऑनलाइन शिक्षा से वंचित रह जाता है, तो पढ़ाई का ये माध्यम अन्यायपूर्ण होगा. केंद्र और राज्य सरकारों को ये प्रतिबद्धता दिखानी चाहिए कि वो आगे चलकर सभी शिक्षण संस्थानों को ब्रॉडबैंड सेवा और ऑनलाइन शिक्षा के लिए उचित यंत्र मुहैया कराएंगे.

कोविड -19, ऑनलाइन शिक्षा, उच्च शिक्षा संस्थान, इंटरनेट कनेक्टिविटी, लॉकडाउन, साइबर और प्रौद्योगिकी, भारत में शिक्षा, मीडिया और इंटरनेट, टेक और मीडिया

24 मार्च को कोविड-19 रोकथाम के लिए जब देश भर में लॉकडाउन लागू किया गया. तो, उसके तुरंत बाद राज्यों की सरकारों ने स्कूली शिक्षा को ऑनलाइन करने का प्रावधान शुरू कर दिया. इसमे एनजीओ, फ़ाउंडेशन और निजी क्षेत्र की तकनीकी शिक्षा कंपनियों को भी भागीदार बनाया गया. इन सब ने मिककर शिक्षा प्रदान करने के लिए संवाद के सभी उपलब्ध माध्यमों का इस्तेमाल शुरू किया. इसमें टीवी, डीटीएच चैनल, रेडियो प्रसारण, व्हाट्सऐप और एसएमस ग्रुप और प्रिंट मीडिया का भी सहारा लिया गया. कई संगठनों ने तो नए अकादमि वर्ष के लिए किताबें भीं वितरित कर दीं. स्कूली शिक्षा की तुलना में देखें, तो उच्च शिक्षा का क्षेत्र इस नई चुनौती से निपटने के लिए बहुत ही कम तैयार था.

एजुकेशन और इमरजेंसी ऑनलाइन रिमोट एजुकेशन में बहुत फ़र्क़ है. ऑनलाइन शिक्षा अच्छी तरह से अनुसंधान के बाद अभ्यास में लाई जा रही है. बहुत से देशों में तालीम का ये माध्यम कई दशकों से इस्तेमाल किया जा रहा है

इस मामले के तमाम विशेषज्ञ जैसे कि आईआईटी बॉम्बे के प्रोफ़ेसर सहाना मूर्ति का ये मानना है कि आमने सामने की पढ़ाई से अचानक ऑनलाइन माध्यम में स्थानांतरित होने से शिक्षा प्रदान करने का स्वरूप बिल्कुल बदल गया है. इस ऑनलाइन शिक्षा को आपातकालीन रिमोट टीचिंग कहा जा रहा है. ऑनलाइन एजुकेशन और इमरजेंसी ऑनलाइन रिमोट एजुकेशन में बहुत फ़र्क़ है. ऑनलाइन शिक्षा अच्छी तरह से अनुसंधान के बाद अभ्यास में लाई जा रही है. बहुत से देशों में तालीम का ये माध्यम कई दशकों से इस्तेमाल किया जा रहा है, ताकि पाठ्यक्रम को ऑनलाइन उपलब्ध कराया जा सके. इसके मुक़ाबले भारत के उच्च शिक्षण संस्थानों में इस ऑनलाइन शिक्षा की उपलब्धता काफ़ी कम है. अब अगर यूनिवर्सिटी और कॉलेज आने वाले सेमेस्टर से ऑनलाइन क्लास शुरू करते हैं, तो उन्हें इस रिमोट ऑनलाइन एजुकेशन और नियमित ऑनलाइन पढ़ाई के अंतर को ध्यान में रखकर अपनी तैयारी करनी होगी. क्योंकि, अगर देश में कोविड-19 के मरीज़ों की तादाद बढ़ती रही, तो उच्च शिक्षण संस्थानों को भी स्कूलों की ही तरह नियमित ऑनलाइन पढ़ाई शुरू करनी होगी.

Explanation:

I hope this will help you

and please mark me as brilliant

Similar questions