कोरोना जंग पर कविता लिखिए
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लॉक डाउन है, लॉक डाउन है...। जी हां, ऐसे समय में घरों में लोग तरह तरह घरेलू काम कर रहे हैं या फिर मोबाइल पर समय गुजार रहे हैं। इन सबके बीच बिंदकी में रहने वाले साहित्यकार एवं कवि वेद प्रकाश मिश्र संकट इस समय में भी घर बैठकर देश के प्रति अपना फर्ज निभाने में जुटे हैं। वह रोजाना कोरोना वायरस पर एक कविता और गीत लिखकर सोशल मीडिया पर वायरल करके लोगों को जागरूक कर रहे हैं।
...लॉक डाउन है, लॉक डाउन है। घर में रहकर समय गुजारें, हाटें बंद बाजारें बंद, सन्नाटे में शहर व टाउन हैं, ...मंदिर, मस्जिद, चर्च न जाएं, कहीं नहीं चौपाल लगाएं...लॉक डाउन है, लॉक डाउन है। यह कुछ पंक्तियां हैं
बिंदकी में राष्ट्रकवि पंडित सोहन लाल द्विवेदी की जन्मस्थली में रहने वाले वयोवृद्ध साहित्यकार/कवि वेद प्रकाश मिश्र की। वह भी अब कोरोना योद्धा हो गए है, जो घर के अंदर बैठकर कविता के माध्यम से हर सुबह लोगों को जागरूक कर रहे हैं। वह बताते हैं अब उम्र ऐसी नहीं कि बाहर निकल कर किसी की कोई मदद कर सकें लेकिन संकट के इस समय देश के प्रति कुछ करना है। इसलिए उन्होंने कोराेना वायरस से लोगों को जागरूक करने के लिए कविता व गीत लिखने का विचार आया।
Avoid touching surfaces, especially in public settings or health facilities, in case people infected with COVID-19 have touched them. Clean surfaces regularly with standard disinfectants.
• Frequently clean your hands with soap and water, or an alcohol-based hand rub.