किसके घाव कभी नहीं भरते हैं?
Answers
कवि के अनुसार कटु वाणी बोलकर द्वारा किसी के मन को दिए गए घाव कभी नहीं भरते।
Explanation:
यह प्रश्न ‘कृपाराम खिड़िया’ द्वारा रचित “राजिया रा सोरठा” कविता से संबंधित है।
कवि के अनुसार जो लोग कठोर वचनों का उपयोग करते हैं, उनकी कटु बोली से जो घाव उत्पन्न होते हैं, वो कभी नही भरते। यह घाव ऐसे होते हैं, जिन पर कोई भी औषधि काम नहीं करती।
कवि के अनुसार वाणी का प्रभाव मनुष्य पर बहुत गहराई तक पड़ता है। मनुष्य को सदैव मधुर वाणी में बोलना चाहिए और दूसरों के मन को जीतना चाहिए। कुछ लोग कठोर वाणी का प्रयोग करते हैं, जिससे दूसरों के मन पर इसका बेहद बुरा असर होता है, और इस कटु वाणी से जो घाव उत्पन्न होते हैं उसे कोई भी औषधि नहीं भर पाती।
कोयल अपने मीठे स्वर द्वारा लोगों को आकर्षित करती है, जबकि उसी से समान रंग-रूप वाला कौवा अपने कर्कश स्वर द्वारा लोगों की निंदा का पात्र बनता है। यह सब वाणी का ही असर है।