Hindi, asked by dikshadiksha81688, 9 hours ago

कबीर दास जी के अनुसार सज्जन पुरुष की पहचान किस प्रकार की जानी चाहिए?​

Answers

Answered by demonmarkborg
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Explanation:

कबीर कहते हैं कि बड़ी बड़ी पुस्तकें पढ़ कर संसार में कितने ही लोग मृत्यु के द्वार पहुँच गए, पर वे सभी विद्वान न हो सके। यदि कोई प्रेम या प्यार के केवल ढाई अक्षरअच्छी तरह पढ़ ले, तो वही सच्चा ज्ञानी होगा।

Answered by ahmadfardeen571
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Answer:

प्रत्येक स्थान पर सज्जन मनुष्य का वास हो तथा प्रत्येक वर्ण में चंदन वृक्ष अर्थात संसार में विभिन्न प्रवृत्तियों के अनेक मनुष्य भास्कर तैसी स्थिति में हमें केवल सज्जन और श्रेष्ठ मनुष्य से ही संपर्क बढ़ाने चाहिए इससे अभीष्ट कार्य अवश्य संपन्न होग|

Explanation:

कबीर कहते है की सज्जन अच्छे लोगो से संबंध बनाकर उसे कायम रखता है | वे रूढ़ते है तो उन्हे बार-बार मनाकर संबंध को जोड़े रखना है |  सज्जन व्यक्ति मन, वचन और कर्म से एक ही विचार से कार्य के प्रति सजग रहते हैं। ऐसे लोग प्रत्येक परिस्थिति में धीरज रखने वाले, क्षमाशील, मन से पवित्र, क्रोध न करने वाले, अपनी इंद्रियों को नियंत्रण में रखने वाले, योगाभ्यासी और सत्पुरुषों का संग करने वाले होते हैं।

दुर्जन का व्यवहार इससे उलटा है | जैसे मटके को जरा-सा धक्का मारने पर वह फुट जाता है, उसी तरह दुर्जन व्यक्ति टूटे रहे संबंध को पूरी तरह तोड़ने में संकोच नही करता |

इस तरह सज्जन में जोड़ने और दुर्जन में तोड़ने की बुद्धि होती है |

#SPJ2

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