Kan par muhavre (10)
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1. कान भरना मुहावरे का अर्थ – किसी के मन में किसी के लिए गलत बात बठा देना या चुगली करना ।
•तुम मेरे ही भाई के लिए मेरे कान भर रहे हो ।
•रघुवीर ने ही तुम्हारे भाई के कान भरे होगे तभी वह ऐसा कह रहा है ।
•मैं बेवजह किसी के कान नही भरती ।
2. कान खुजलाना – सही तरह से कोई बात न सुनना ।
•मंत्री साहब गाव की समस्या दूर करने के लिए आए थे मगर गाव के लोगो ने मंत्री साहब की बात सुन कर कान खुजालने लगे जिसके कारण से मंत्री साहब समस्या दूर किए बिना ही वापस चले गए ।
•कल मैं किसी तरह से सेठ जी से मदद मागुगा मगर तुम लोगो को भी मेरा साथ देना है बल्की कान मत खुजलाने लग जाना ।
•मोदीजी के भाषणो को सुन कर कुछ लोग कान खुजलाने लगे ।
3. कान पकड कर रोना – अपनी गलती पर शर्मिंदा होना ।
•पहले तो मेरी बात सुन नही रहे थे और जब अब कार्य मे नुकसान हो गया तो कान पकड कर रो रहे हो ।
•तुम मेरी बात पर अब ध्यान नही दे रहे हो मगर जब तुम्हारा बडा नुकसान होगा तो कान पकडकर रोने लगोगे ।
•राजवीर रोजना अपनी पत्नी से झगडा करता था जिसके कारण से पत्नी ने राजवीर को बहुत बार मायके जाने की चेतावनी दी मगर वह नही माना मगर जब पत्नी मायके चली गई तो राजवीर कान पकड कर रोने लगा ।
4. कान फूंकना – दीक्षा देना ।
•मैंने सुना है की रामलाल आज कल उस पांखंडी बाबा के पास जा रहा है जो रामलाल के कान फूंकने लगा है ।
•तुमने अपने बेटे को उस हराम के पिल्ले के पास क्यो भेजा है वह तुम्हारे बेटे को गलत कार्यो के लिए ही कान फूंक सकता है ।
•एक चोर दूसरो को चोरी के लिए ही कान फूंक सकता है उसे और क्या आता हो ।
5. कान का कच्चा होना – जल्दी विश्वास करना ।
•सेठजी आपने मेरे बेटे को भला फुसला कर गलत काम करवाया है क्योकी अभी इसके कान कच्चे है ।
•रामलाल के कान जरा कच्चे है वह किसी की भी बात मान लेता है ।
•भाई साहब यह पैसो का मामला है यहां पर मैं कान का कच्चा होने वाली बात नही कर सकता ।
6. कान कतरना – चतुर होना ।
•सरला तुमने अपने बेटे को क्या खिलाया पिलाया है जो आज उसके कान कतर लए ।
•सुजनसिंह के कान करते हुए है उससे होसियारी कर कर लूटने की सोचना भी मत ।
•तुम्हारा मतलब है की मैं उस कान कतरे हुए आदमी के पास रहकर उसे ही लूट लू यह नही हो सकता ।
7. कान पर जूं न रेगना – ध्यान न देना ।
•तुम्हारा बेटा गाव के हर किसी को परेशान कर रहा है और तुम्हारे कान पर जूं तक न रेगी ।
•तुम्हे तो यह पता ही नही की आधी रात को तुम्हारे घर मे चोरी हो गई सच है तुम्हारे कान पर जूं न रेगी ।
•बेटा मैं जरा काम से बाहर जा रहा हूं तुम अपना और घर का ध्यान रखना कही ऐसा न हो की चोर चोरी कर कर चला जाए और तुम्हारे कान पर जुं तक न रेगे ।
8. कान उमेठना – कान को पकडकर खिचना ।
•आजकल रामलाल बडा सरारती हो गया है इसके कान उमेठने पडेगे ।
•मैंने तुम्हे कितनी बार एक काम को करने के लिए कहा था और अब कान उमेठने लगी तो तुम्हे वह काम करने के लिए जाने लगे हो ।
•इस तरह से बेटे के कान उमेठना अच्छा नही है क्योकी क्या पता कान निकल जाए ।
9. कानों कान खरन न होना – बिल्कुल पता न होना ।
•सरोज की बेटी एक कुलफी वाले के साथ भाग गई और तुम्हे इस बारे मे कानों कान का खबर न हुई ।
•अरे मुर्ख तु जरा शहर मे आराम से जाना क्योकी आज कल पुलिस डंडे लेकर हर जगह खडे है तुम्हे क्या इस बारे मे कानो कान खबर नही है ।
•भाईसाहब पेंट्रोल का भाव 100 से भी पार चला गया और आप अभी 83 लिटर पेंट्रोल लेने की बात कर रहे हो तुम्हे इस बोर में कानों कान खबर नही है क्या ।
10. कान मे तेल डालना – सुनकर अनसुना करते रहना ।
किशोर तो कान मे तेल डाल कर बैठा है ।
मधुमरी मैं तुम्हे कब से समझा रही हूं मगर तुम मेरी बात पर गोर नही कर रही हो लगता है की तुमने तो काम मे कान डाल रखा है ।
पिताजी ने कहा था की जब भी बुरी बात सुनो तो कान मे तेल डाल लेना ।