लॉकडाउन में शिक्षा essay in hindi
Answers
कोरोना के कारण देशभर में हुए लॉकडाउन ने शिक्षा का स्वरूप बदल दिया है। कल तक बैग व बस्ते के साथ विद्यालय जाने वाले बच्चे अब घर पर ही पूरी तन्मयता से पढ़ाई कर रहे हैं। लॉकडाउन के शुरुआती दौर में लूडो, शतरंज व कैरम बोर्ड के अलावा मोबाइल पर गेम व टेलीविजन देख मन बहलाने वाले बच्चे अब ऑनलाइन शिक्षा की व्यवस्था होने से पूरा दिन पढ़ रहे हैं। वे घर बैठे ही टेस्ट देने के साथ अपनी उपस्थिति भी ऑनलाइन दर्ज करा रहे हैं। शिक्षा विभाग की ओर से दूरदर्शन पर उपलब्ध कराई जा रही शिक्षण सामग्री से फिलहाल जिले के 137 उच्च विद्यालय के नौवीं व दसवीं कक्षा के 26 हजार से अधिक छात्र-छात्राएं लाभ ले रहे हैं। इसके अलावा केंद्रीय विद्यालय व कई अन्य निजी स्कूलों में 50 हजार से अधिक छात्रों की ऑनलाइन पढ़ाई के साथ उनकी उपस्थिति भी दर्ज कराई जा रही है।
केंद्रीय विद्यालय की छात्रा अविता अंजाना, शालिनी, नित्या, प्रशांत कुमार, गौतम, अनामिका, डीएवी की मृग्या शेखर समेत अन्य छात्राओं की मानें तो भले ही ऑनलाइन पढ़ाई से उनका कोर्स पूरा हो रहा है। उन्हें लग ही नहीं रहा है कि वे स्कूल से दूर हैं। घर में भी स्कूल जैसा रूटीन का अनुपालन कर रहे हैं। केंद्रीय विद्यालय के शिक्षक अविनाश कुमार अंजाना ने कहा, ऑनलाइन पढ़ाना भी उनके लिए भी नया अनुभव था, लेकिन सैकड़ों छात्रों की दिलचस्पी ने इसे कारगर बना दिया। कहते हैं अधिकारी :
जिले के 137 उच्च विद्यालयों के नौवीं व दसवीं कक्षा के 26 हजार से अधिक छात्र डीडी चैनल के माध्यम से ऑनलाइन पढ़ाई कर रहे हैं। इसके अलावा कक्षा एक से आठवीं व 11वीं 12वीं के छात्रों को भी विभिन्न एप के माध्यम से ऑनलाइन शिक्षण सामग्री उपलब्ध कराई जा रही है। इसके अलावा केंद्रीय विद्यालय व निजी विद्यालयों द्वारा ऑनलाइन शिक्षा कार्यक्रम चलाया जा रहा है।