माता का अँचल' पाठ में भोलानाथ द्वारा चूहे के बिल में पानी डालना बच्चों की किसमनोवृत्ति को प्रकट करता है ? क्या यह उचित है ? पशु-पक्षियों के संरक्षण के उपायभी बताइए।
Answers
Explanation:
Bholenath dwara Jo chuhe c ble Mein pani dalna bacchon ke khal or Badmashi ko prakat karta hai ya chit Nahin Hai Kyunki Hame Pashu pakshiyon Ko Ka Sanrakshan bhi karna chahi baby is Prakriti me ha he h Adhikar hai Hamari Tarah Zindagi Jeene KaK.
प्रशन :- माता का अँचल' पाठ में भोलानाथ द्वारा चूहे के बिल में पानी डालना बच्चों की किसमनोवृत्ति को प्रकट करता है ? क्या यह उचित है ? पशु-पक्षियों के संरक्षण के उपायभी बताइए।
उत्तर :- बच्चे चूहे के बिल में पानी डाल रहे थे कि चूहा बाहर आएगा, परंतु चूहे के स्थान पर साँप बाहर निकल आया। बच्चे रोते-चिल्लाते इधर-उधर भागते चले गए। लेखक भोलानाथ का सारा शरीर लहूलुहान हो गया। पैरों के तलवे काँटों से छलनी हो गए। वास्तव में ऐसे खेल से कोई दुर्घटना हो सकती थी। किसी को सौंप काट भी सकता था। ऐसा खेल खेलना बच्चों के लिए उपयुक्त नहीं है।
इस घटना से यह स्पष्ट होता है कि बच्चों में चिढ़ाने एवं तंग करने की प्रवृत्ति बहुत होती है। खेल के चक्कर में वे सारी बातें भूल जाते हैं। जब साथ में दोस्तों का समूह मिल जाता है तो फिर उनकी प्रवृत्ति मनमानी करने की हो जाती है। यही बचपना है, यही बच्चों की मानसिकता है।
पशु-पक्षियों के संरक्षण के उपाय :-
1 . हमें लुप्त प्रजातियों के लिए प्रजनन कार्यक्रमों का आयोजन किया जाना चाहिए।
2 . जंगली पक्षियों और जानवरों की अंधाधुंध हत्या, चाहे बहुतायत में हो, वन अधिकारियों द्वारा अनुमति नहीं दी जानी चाहिए।
3 . पूरे देश में जंगली जानवरों और पक्षियों के प्राकृतिक आवासों के संरक्षण के लिए राष्ट्रीय उद्यानों और अभयारण्यों की अधिक संख्या की स्थापना की जानी चाहिए।