Hindi, asked by guleriaakrishna, 7 months ago

माता और बेटे के बीच में करुणा महामारी को लेकर संवाद​

Answers

Answered by ajadtomar0098
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Explanation:

कोरोना संकट के बहाने भारत के दुख-दर्द, उसकी जिजीविषा, उसकी शक्ति, संबल, लाचारी, बेबसी, आर्तनाद और संकट सब कुछ खुलकर सामने आ गए हैं। इन सात दशकों में जैसा देश बना या बनाया गया है, उसके कारण उपजे संकट भी सामने हैं। दिनों दिन बढ़ती आबादी हमारे देश का कितना बड़ा संकट है यह भी खुलकर सामने है, किंतु इस प्रश्न पर संवाद का साहस न राजनीति में है, न विचारकों में। संकटों में भी राजनीति तलाशने का अभ्यास भी सामने आ रहा है। मीडिया से लेकर विचारकों के समूह कैसे विचारधारा या दलीय आस्था के आधार पर चीजों को विश्लेषित और व्याख्यायित कर रहे हैं कि सच कहीं सहम कर छिप गया है। देश के दुख, देश के लोगों के दुख और संघर्ष भी राजनीतिक चश्मों से देखे और समझाए जा रहे हैं।

Answered by aayushkumar13
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Explanation:

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कोरोना संकट के बहाने भारत के दुख-दर्द, उसकी जिजीविषा, उसकी शक्ति, संबल, लाचारी, बेबसी, आर्तनाद और संकट सब कुछ खुलकर सामने आ गए हैं। इन सात दशकों में जैसा देश बना या बनाया गया है, उसके कारण उपजे संकट भी सामने हैं। दिनों दिन बढ़ती आबादी हमारे देश का कितना बड़ा संकट है यह भी खुलकर सामने है, किंतु इस प्रश्न पर संवाद का साहस न राजनीति में है, न विचारकों में। संकटों में भी राजनीति तलाशने का अभ्यास भी सामने आ रहा है। मीडिया से लेकर विचारकों के समूह कैसे विचारधारा या दलीय आस्था के आधार पर चीजों को विश्लेषित और व्याख्यायित कर रहे हैं कि सच कहीं सहम कर छिप गया है। देश के दुख, देश के लोगों के दुख और संघर्ष भी राजनीतिक चश्मों से देखे और समझाए जा रहे हैं।

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