Hindi, asked by meghapandey1973, 18 days ago

मित्र और शत्रु के अनादर होने पर क्या करना चाहिए? ​

Answers

Answered by shinepoonam16
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Explanation:

आचार्य की नीति है कि अपने शत्रु से कभी घृणा मत करो। शत्रु से घृणा करने पर आप उसके बारे में सोचने-समझने की शक्ति खो देते हैं आप उसकी केवल कमजोरी देख पाते हैं ताकत नहीं। इसलिए शत्रु को एक मित्र की तरह देखें और उसकी हर छोटी बड़ी बातों की खबर रखें ताकि युद्ध के हालात में शत्रु के बचकर निकलने की कोई राह ना हो।

Answered by irfannazir144q
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Explanation:

आचार्य की नीति है कि अपने शत्रु से कभी घृणा मत करो। शत्रु से घृणा करने पर आप उसके बारे में सोचने-समझने की शक्ति खो देते हैं आप उसकी केवल कमजोरी देख पाते हैं ताकत नहीं। इसलिए शत्रु को एक मित्र की तरह देखें और उसकी हर छोटी बड़ी बातों की खबर रखें ताकि युद्ध के हालात में शत्रु के बचकर निकलने की कोई राह ना हो।

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