महामारी के दौरान मजदूर की आत्मकथा (150-200 words) (Worker's autobiography during the epidemic)
Answers
Answer:
महामारी के दौरान मजदूरों की आत्मकथा:
Explanation:
देश के अलग-अलग राज्यों में फंसे हुए प्रवासी मजदूरों को घर भेजना राज्य सरकारों के लिए चुनौतीपूर्ण काम हो सकता है। प्रवासी मजदूरों की घर वापसी को केंद्र सरकार की हरी झंडी मिल जाने के बाद भी राज्यों के लिए मजदूरों का पलायन चुनौती बन गया है। कोरोना संकट के इस दौर में मजदूरों का पंजीकरण, वाहनों का इंतजाम, स्क्रीनिंग समेत तमाम जरूरी बंदोबस्त अब सरकार के लिए मुश्किल पैदा कर सकते हैं। सबसे बड़ी समस्या ऐसी स्थिति में सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कराने की है, जिसके लिए तमाम राज्य सरकार अधिकारियों से मंथन कर रही है। लॉकडाउन की वजह से दूसरे राज्यों में फंसे लोगों को घर वापस लाने के लिए विशेष ट्रेनें चलाई जा रही हैं। राज्यों की मांग पर केंद्र सरकार ने ट्रेन से मज़दूरों और दूसरे लोगों को वापस लाने की अनुमति दी है।