महात्मा गांधी के निधन पर सरोजिनी नायडू ने जो विचार व्यक्त किए, उन्हें अपने शब्दों में लिखिए |
please dont do scam
Answers
Answer:
सरोजिनी नायडू का जन्म 13 फरवरी 1879 को हैदराबाद में हुआ था. उनके पिता अघोरनाथ चट्टोपाध्याय एक नामी विद्वान तथा और कवियित्री थीं. बचपन से ही सरोजिनी नायडू बहुत होशियार थीं. उन्होंने 12 साल की आयु में ही 12 वीं की परीक्षा अच्छे अंकों के साथ पास कर ली थी. उन्होंने 13 साल की आयु में 'लेडी ऑफ दी लेक' नामक कविता लिख दी थी. 1895 में 16 साल की उम्र में उन्हें हैदराबाद के निजाम की ओर से स्कॉलरशिप मिल गई और वे पढ़ने के लिए पहले लंदन के किंग्स कॉलेज और बाद में ग्रिटन कॉलेज कैम्ब्रिज गईं
Answer:
सरोजिनी नायडू ने अपनी श्रद्धांजलि में कहा मेरे गुरु मेरे नेता मेरे पिता की आत्मा शांत होकर विश्राम ना करें बल्कि उनकी गतिमान हो उठे चंदन की राख गतिमान हो उठे उनकी अस्थियां इस प्रकार जीवंत और उत्साह से परिपूर्ण हो जाएगी समस्त भारत उनकी मृत्यु के बाद वास्तविक स्वतंत्रता आकर पुण्य जीवित हो उठे मेरे पिता विश्राम मत करो ना हमें विश्राम करने दो हमें अपने वचन पूरा करने की क्षमता दो हमें अपनी प्रतीक्षा पूरी करने की शक्ति दो हम तुम्हारे उत्तराधिकारी है संतान है सेवक है तुम्हारे स्वप्न रक्षक है भारत के भाग्य निर्माता है तुम्हारा जीवन का हम पर प्रभावी रहा है अब तुम मृत्यु के बाद भी हम पर प्रभाव डालते हो।