नीचे लिखे गद्यांश को ध्यानपूर्वक पढ़कर प्रश्नों के उत्तर लिखो-
1.
विनम्रता केवल भाषा की वस्तु नहीं। हमारे कर्म में भी विनम्रता होनी चाहिए। अपने यहाँ किसी के और १४
उसका प्रसन्नता से स्वागत और यथोचित्त सत्कार करना चाहिए। अपने से बड़े व्यक्तियों के बैठ जाने के
बैठना चाहिए। महिलाओ के प्रति हमारे व्यवहार में और भी विनम्रता आवश्यक है। बस और रेल में किसे ।
को खड़ी देखकर अपनी सीट उन्हें बैठने के लिए दे देना शिष्ट आचरण है परंतु विनम्रता और दीनता में र
विनम्र होते हए भी हम अपने स्वाभिमान की रक्षा कर सकते हैं। विनम्र व्यवहार का अर्थ चापलूसी नहीं है।
कभी यह महसूस हो कि जिसके प्रति हम विनित है, वह हमारा तिरस्कार कर रहा है अथवा हमें दीन जाकर
। से के
(घ)
4.
शि
प्रति दया की भावना प्रकट कर रहा है। तो उसकी कृपा प्राप्त करने की चेष्टा हमें नहीं करनी चाहिए।
(क) हम अपने कर्म में विनम्रता किस प्रकार दिखला सकते हैं?
महिलाओं के प्रति हम अपने व्यवहार में विनम्रता किस प्रकार प्रकट कर सकते हैं?
(ग)
विनम्रता और दीनता में क्या अंतर है?
कुछ कथन नीचे दिए गए हैं। इनमें से ऊपर के अनुच्छेद के प्रसंग में एक ही ठीक है। उसे खोज कर उस पर
(/) का निशान लगाओ-
1. विनम्रता का प्रदर्शन हम केवल वाणी से कर सकते हैं।
महिलाओं के प्रति हमारे व्यवहार में विनम्रता अवश्य होनी चाहिए।
in. विनम्र बनकर हम अपने स्वाभिमान की रक्षा कर सकते हैं।
iv. विनम्र व्यवहार का अर्थ चापलूसी है।
उपर्युक्त गद्याश का उपयुक्त शीर्षक लिखो।
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itna to bacche bhi kar sakte hai
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gsgdhdhdhdehehegiehdbd
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