India Languages, asked by upendrarathi91, 6 months ago


निजनिकेतन गिरिशिखरे असति।( )​

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Answered by wapitaf225
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Answer:

मृदा के अंदर लाखों प्रजातियों के पौधे और जानवर रहते हैं। भूजल उनके लिए एक और एकमात्र संसाधन है। केवल पौधे और जानवर ही नहीं बल्कि लाखों कीट भी मृदा के अंदर अपना जीवन जीते हैं। उन्हें अपनी जरूरतों को पूरा करने के लिए भी पानी की जरूरत होती है। इसलिए, हमें हमेमृदा के अंदर लाखों प्रजातियों के पौधे और जानवर रहते हैं। भूजल उनके लिए एक और एकमात्र संसाधन है। केवल पौधे और जानवर ही नहीं बल्कि लाखों कीट भी मृदा के अंदर अपना जीवन जीते हैं। उन्हें अपनी जरूरतों को पूरा करने के लिए भी पानी की जरूरत होती है। इसलिए, हमें हमेमृदा के अंदर लाखों प्रजातियों के पौधे और जानवर रहते हैं। भूजल उनके लिए एक और एकमात्र संसाधन है। केवल पौधे और जानवर ही नहीं बल्कि लाखों कीट भी मृदा के अंदर अपना जीवन जीते हैं। उन्हें अपनी जरूरतों को पूरा करने के लिए भी पानी की जरूरत होती है। इसलिए, हमें हमेमृदा के अंदर लाखों प्रजातियों के पौधे और जानवर रहते हैं। भूजल उनके लिए एक और एकमात्र संसाधन है। केवल पौधे और जानवर ही नहीं बल्कि लाखों कीट भी मृदा के अंदर अपना जीवन जीते हैं। उन्हें अपनी जरूरतों को पूरा करने के लिए भी पानी की जरूरत होती है। इसलिए, हमें हमेमृदा के अंदर लाखों प्रजातियों के पौधे और जानवर रहते हैं। भूजल उनके लिए एक और एकमात्र संसाधन है। केवल पौधे और जानवर ही नहीं बल्कि लाखों कीट भी मृदा के अंदर अपना जीवन जीते हैं। उन्हें अपनी जरूरतों को पूरा करने के लिए भी पानी की जरूरत होती है। इसलिए, हमें हमे

Explanation:

मृदा के अंदर लाखों प्रजातियों के पौधे और जानवर रहते हैं। भूजल उनके लिए एक और एकमात्र संसाधन है। केवल पौधे और जानवर ही नहीं बल्कि लाखों कीट भी मृदा के अंदर अपना जीवन जीते हैं। उन्हें अपनी जरूरतों को पूरा करने के लिए भी पानी की जरूरत होती है। इसलिए, हमें हमे

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