Geography, asked by maahira17, 10 months ago

निम्नांकित प्रश्नों के उत्तर लगभग 30 शब्दों में दीजिए :
(i) चित्ररेखापूँज एवं सदिश (वेक्टर) आंकड़ा मॉडल के मध्य अंतर
(ii) उपरिशायी विश्लेषण क्या है?
(iii) भौगोलिक सूचना तंत्र में हस्तचलित विधि के गुण क्या हैं?
(iv) भौगोलिक सूचना तंत्र के महत्वपूर्ण घटक क्या हैं?
(v) भौगोलिक सूचना तंत्र के कोर में स्थानिक सूचना बनाने की विधि क्या है?
(vi) स्थानिक सूचना प्रौद्योगिकी क्या है?

Answers

Answered by nikitasingh79
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(i) चित्ररेखापूँज एवं सदिश (वेक्टर) आंकड़ा मॉडल के मध्य अंतर :  

चित्ररेखापूँज आंकड़ा मॉडल :  

चित्ररेखाज (रैस्टर) एक ग्राफिक विशेषता को वर्गों के ग्रिड के पैटर्न के रूप में दर्शाते हैं।  

सदिश (वेक्टर) आंकड़ा मॉडल :  

सदिश (वेक्टर) आंकड़ा वस्तु को विशिष्ट बिंदुओं के बीच खींची गई रेखाओं के एक समूह के रूप में दर्शाते हैं।

(ii) उपरिशायी विश्लेषण :  

उपरिशायी विश्लेषण GIS का हाॅलमार्क है। इसका प्रयोग करके मानचित्रों के बहुगुणी स्तरों का समन्वय किया जाता है जो एक महत्वपूर्ण विश्लेषण क्रिया है। भौगोलिक सूचना तंत्र उसी क्षेत्र के मानचित्रों  के दो तथा अधिक विषयक स्तरों का अधिचित्रण करके नए मानचित्र स्तर प्राप्त करने को संभव बनाता है।  

(iii) भौगोलिक सूचना तंत्र में हस्तचलित विधि के गुण इस प्रकार है :  

(1) भौगोलिक सूचना तंत्र की सहायता से संचित भौगोलिक आंकड़ों, आवश्यकता के अनुरूप बने मानचित्रों एवं चयनित आंकड़ा आधार प्राप्त करने की सुविधा मिल जाती है।

(2) मानचित्र की सूचना एक विशेष ढंग से प्रक्रमित और प्रदर्शित की गई होती है।  

(3) एक मानचित्र एक तथा एक से अधिक पूर्व निर्धारित विषय वस्तुओं को दर्शाता है।  

(iv) भौगोलिक सूचना तंत्र के महत्वपूर्ण घटक निम्नलिखित हैं -  

हार्डवेयर , सॉफ्टवेयर, आंकड़े , लोग,  प्रक्रिया।

(v) भौगोलिक सूचना तंत्र के कोर में स्थानिक सूचना बनाने की विधि निम्न है :  

() स्थानिक आंकड़ा निवेश

(2) गुण न्यास की प्रविष्टि

(3) आंकड़ों का सत्यापन और संपादन

(4) स्थानिक और गुण न्यास आंकड़ों के सहलग्नता

(5) स्थानिक विश्लेषण

(vi) स्थानिक सूचना प्रौद्योगिकी :  

आज उपयोग किए जाने वाले अधिकांश आंकड़े में स्थानिक घटक (स्थान) होते हैं, जैसे नगरपालिका का पता, या कृषि जोतों की सीमाएं, आदि। इसलिए, स्थानिक सूचना प्रौद्योगिकी तकनीकी आदानों के संग्रह, भंडारण, में उपयोग से संबंधित है

स्थानिक जानकारी को पुनः प्राप्त करना, प्रदर्शित करना, हेरफेर करना, प्रबंधित करना और उनका विश्लेषण करना। यह रिमोट सेंसिंग, जीपीएस, भौगोलिक सूचना तंत्र (GIS), डिजिटल कार्टोग्राफी और डेटाबेस मैनेजमेंट सिस्टम्स का समामेलन है।

आशा है कि यह उत्तर आपकी अवश्य मदद करेगा।।।।

इस पाठ  (स्थानिक सूचना प्रौद्योगिकी ) के सभी प्रश्न उत्तर :  

https://brainly.in/question/15205002#

इस पाठ से संबंधित कुछ और प्रश्न :

नीचे दिए गए चार विकल्पों में से सही उत्तर चुनिए :

(i) स्थानिक आंकड़ों के लक्षण निम्नांकित स्वरूप में दिखाई देते हैं-

(क) अवस्थितिक (ख) रैखिक (ग) क्षेत्रीय (घ) उपर्युक्त सभी स्वरूपों में

(ii) विश्लेषक मॉड्यूल सॉफ्टवेयर के लिए कौन-सा एक प्रचालन आवश्यक है?

(क) आंकड़ा संग्रहण (ख) आंकड़ा प्रदर्शन (ग) आंकड़ा निष्कर्षण (घ) बफ़रिंग

(iii) चित्ररेखापूँज (रैस्टर) आंकड़ा फॉरमेट का एक अवगुण क्या है? (क) सरल आंकड़ा संरचना (ख) सहज एवं कुशल उपरिशायी (ग) सुदूर संवेदन प्रतिबिंब के लिए सक्षम (घ) कठिन परिपथ चाल विश्लेषण

(iv) सदिश (वेक्टर) आंकड़ा फॉरमेट का एक गुण क्या है?

(क) समिश्र आंकड़ा संरचना (ख) कठिन उपरिशायी प्रचालन (ग) सुदूर संवेदन आंकड़ों के साथ कठिन सुसंगतता (घ) सघन आंकड़ा संरचना

(v) भौगोलिक सूचना तंत्र कोट में उपयोग कर नगरीय परिवर्तन की पहचान कुशलतापूर्वक की जाती है-

(क) उपरिशायी प्रचालन (ख) सामीप्य विश्लेषण (ग) परिपथ जाल विश्लेषण (घ) बफरिंग

https://brainly.in/question/15205133#

 निम्नलिखित प्रश्न के उत्तर 125 शब्दों में दीजिए :

(i) चित्ररेखाज (रैस्टर) एवं सदिश (वेक्टर) आंकड़ा फॉरमेट को उदाहरण सहित समझाइए।  

https://brainly.in/question/15205199#

Answered by Anonymous
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Explanation:

अधिचित्रण विश्लेषण को उपरिशायी भी कहते हैं? भौगोलिक सूचना तंत्र का प्रमाण चिह्न अधिचित्रण प्रचालन है। इस विधि का प्रयोग करके मानचित्रों के बहुगुणी स्तरों को समन्वय एक महत्त्वपूर्ण विश्लेषण क्रिया है। इसमें दो अथवा अधिक विषयक स्तरों का अधिचित्रण करके नया मानचित्र स्तर प्राप्त किया जा सकता है।

(iii) भौगोलिक सूचना तंत्र में हस्तचलित (हस्तेन) विधि के गुण क्या हैं?

भौगोलिक सूचना तंत्र में हस्तेन निवेश की चार मुख्य अवस्थाएँ होती हैं

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