Hindi, asked by ms6959516, 8 days ago

निम्नलिखित गद्यांश का प्रसंग सहित अर्थ लिखिए।
यह पावस यहाँ नहीं पहुँचता है। कालिदास की वर्षा की शोभा विंध्याचल में है। हिमाचल की इन मध्य
की घाटियो गें नहीं है मैं नहीं जानता कि इसका लालिलय लाहुल स्पीति के नर नारीशमा भी पाएँगे या नहीं
। वर्षा उनके संवेदन का अंग नहीं है वह जानते नहीं कि बरसात में नदियाँ बहती हे बादल बरसते
हाथी चिधांडते है जंगल हरे भरे हो जाते है अपने प्यारों से बिछडी हुई स्त्रियाँ रोती कलपती हे मोर नाचते है
और बंदर चुप मारकर गुफाओ में जा छिपते है।​

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Answered by mishrashalo5
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Answer:

अपनी विषय-वस्तु देश की सांस्कृतिक विरासत से लेते हैं और उसे वे अपने उद्देश्य की प्राप्ति के अनुरूप ढाल देते हैं। उदाहरणार्थ, अभिज्ञान शाकुन्तल की कथा में शकुन्तला चतुर, सांसारिक युवा नारी है और दुष्यन्त स्वार्थी प्रेमी है। इसमें कवि तपोवन की कन्या में प्रेमभावना के प्रथम प्रस्फुटन से लेकर वियोग, कुण्ठा आदि की अवस्थाओं में से होकर उसे उसकी समग्रता तक दिखाना चाहता है। उन्हीं के शब्दों में नाटक में जीवन की विविधता होनी चाहिए और उसमें विभिन्न रुचियों के व्यक्तियों के लिए सौंदर्य और माधुर्य होना चाहिए।

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