Hindi, asked by riddhs7, 1 month ago

निम्नलिखित गद्यांश को पढ़कर पूछे गए प्रश्नों के उत्तर दीजिए- कुछ वर्षों पूर्व तक आस-पड़ोस के संबंध आत्मीयता और गर्माहट से भरपूर होते थे। सब लोग सुख-दुख में एक-दूसरे की बाजू बन जाते थे। उन्हें एक-दूसरे से कुछ छिपाने की आदत नहीं थी और व्यक्तिगत जीवन जैसी कोई विचारधारा भी नहीं थी। जैसे ही जीवन में व्यक्तिगत विचारधारा आई, वैसे ही सब कुछ बिखरने लगा। बर्तन, चूल्हा-चौका, कमरे, दालान, घर आदि सब बँटने लगे। एक-दूसरे का चेहरा तक न देखना पड़े, इसके लिए मुहल्ले तक छूटने लगे और एक-दूसरे से मार्ग में टकरा न जाएँ, इसलिए शहर भी त्यागे जाने लगे। जब स्नेह-बंधन ही तार-तार हो गए, तो बेचारी मोहल्लेदारी की क्या बिसात! सब लोग अपना-अपना जीवन जीना चाहते थे, ताकि मानसिक शांति भंग न हो। शांति तो आ गई, परंतु मरघट जैसी। मोहल्ले घरों में और घर भी अलग-अलग कमरों में सिमट गए। परिवार में भी 'निजता' चाहिए, क्योंकि हमारे सुख-दुख में साथ निभाने के लिए 'फेसबुक' और 'व्हाट्सएप' हैं। बड़े-बुजुर्गों को वृद्धाश्रम अथवा सड़कों पर छोड़ दिया जाता है, ताकि वे रिश्तों की दुहाई न दें और न हमें टोककर हमारी मानसिक शांति को नष्ट करें। धन्य है हमारी आधुनिकता! (1) कुछ वर्षों पूर्व तक आस-पड़ोस के संबंध कैसे थे? (ii) स्नेह बंधनों के तार-तार होने के लिए कौन-कौन-से कारण दोषी हैं? स्पष्ट कीजिए।​

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Answered by reduced982
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The answer of this question is

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Answered by singhalarvind
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are koi answer batao do test chal raha hai mera .please

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