Hindi, asked by Princedynamic3920, 1 year ago

निम्नलिखित गद्यांश को ध्यानपूर्वक पढ़कर पूछे गए प्रश्नों के उत्तर दीजिए ---
आधुनिक युग विज्ञान का युग है I इस युग में हम बिना सोचे - विचारे दैवी संदेशों या अविश्वसनीय मतों को स्वीकार नहीं कर सकते I विज्ञान और प्रौद्योगिकी के नए - नए आविष्कार हो रहे हैं I धीरे - धीरे प्रकृति के रहस्यों को भी मनुष्य समझने लगा है I वर्त्तमान समय मानववाद का भी है जिसमें वे विचार धर्म जो मानवीय बुराइयों तथा सामाजिक अपराधों के प्रति संवेदनशील नहीं हैं I मनुष्य के गले नहीं उतरती I ये वैमनस्य धर्म - भेद, अनैतिकता को बढ़ते हैं और एकता, सद्भावना तक सामंजस्य की भावना को प्रोत्साहित नहीं करते हैं I वे आपस में मनुष्य को मनुष्य के प्रति वैरभाव उत्पन्न करके धर्म द्रोहियों को बढ़ावा देते हैं I
प्राकृतिक रूप से विज्ञान धर्म का विरोध नहीं करता I धार्मिक मतों के पक्ष में मुख्य तर्क प्रायः ब्रह्मांड संबंधी विचारों पर आधारित होते हैं I प्राकृतिक धर्म कभी प्राप्त स्रोतों, परंपराओं पर निर्भर नहीं होता I वह अनुभव सिद्ध, अनुभूत, प्रत्यक्ष तथ्यों के अध्ययन साक्ष्य तथा व्यावहारिकता पर आधारित होता है I
वैज्ञानिक रूप को मानने वाले लोग प्राकृतिक तथ्यों का भाली - भाँति सर्वेक्षण करके, तर्कसंगत, परमसत्ता सिद्धांत को प्रतिपादित किया जाता है I ब्रह्मांड को समझने के लिए जिज्ञासा पर बल वैज्ञानिक धर्म में दिया जाता है I प्राकृतिक ऊर्जा और पदार्थों के उत्पन्न होने और विनाश को समझने की उत्सुकता और जिज्ञासा होती है I पदार्थ से ही सृष्टि का प्रारंभ हुआ है I विज्ञान की चेतना में ग्रह संकेत कहीं नहीं मिलता I प्राकृति की प्रगति और व्यवस्था को देखने से स्पष्ट होता है कि विभिन्न प्रणालियों का संचालन किसी सर्वद्रव्य पारलौकिक द्वारा की किया जाता है ?
(क) लेखक इस गद्यांश में क्या प्रतिपादित करना चाहता है ?
(ख) वैज्ञानिक बुद्धि का व्यक्ति किस प्रकार का व्यवहार करता है ?
(ग) आधुनिक मानव किन बातों को सही मानता है ?
(घ) लेखक ने धर्म द्रोही किन्हें कहा है ?
(ङ) प्रकृति की व्यवस्था से क्या स्पष्ट होता है ?
(च) गद्यांश का उचित शीर्षक लिखिए I

Answers

Answered by shishir303
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(क)

लेखक इस गद्यांश में ये प्रतिपादित करना चाहता है, कि इस प्रकृति में कोई पारलौकिक परसत्ता है, जिससे प्रकृति की सारी गतिविधियां  संचालित होती हैं।

(ख)

वैज्ञानिक बुद्धि को के व्यक्ति में जिज्ञासा होती है, वो प्रकृति के रहस्यों और तत्वों को जानने व समझने की उत्सुकता रखता है।

(ग)

आधुनिक मानव उन बातों को सही मानता है जो विज्ञान की कसौटी पर खरे उतरते हैं। वो बिना जाँचे-परखे केवल प्राचीन और अंधविश्वासी मान्यताओं के आधार पर किसी बात को सही नही मानता।

(घ)

लेखक ने उन लोगों को धर्म द्रोही कहा है, जो आपस में मनुष्यों को लड़ाते हैं। एक मनुष्य के मन दूसरे मनुष्य के प्रति बैरभाव उत्पन्न करते हैं।

(ङ)

प्रकृति का व्यवस्था से स्पष्ट होता है, प्रकृति की विभिन्न प्रणालियों का संचालन किसी सर्वद्रव्य पारलौकिक सत्ता द्वारा किया जाता है।

(च)

गद्यांश का उचित शीर्षक होगा...

परमसत्ता और विज्ञान

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