Hindi, asked by novonildharchoudhury, 2 months ago

निम्नलिखित काव्य-पंक्तियों में निहित रसों के नाम लिखिए (i) सरकंडे से हाथ-पाँव और मटके जैसो पेट। पिचके - पिचके गाल दोउ मुँह तो इण्डिया गेट |
(ii) यह घड़ा पाप का हमें फोड़ना होगा अधिकारवाद का किला खड़ा छाती पर करके प्रहार यह किला तोड़ना होगा।
(iii) देख नहीं पाता मैं माँ के नयनों की जलधार। मेरा हृदय हिला देती है उनकी करुण पुकार ।।
(iv) चकित हुआ था तब देख मोर-जोड़ी को नृत्य करती थी जो सुधबुध भूलकर साथ उसके था एक नृत्यरत सर्प भी प्रवृत्ति गत युग वैर भाव से रहित थे।
(v) वह खून कहो किस मतलब का, जिसमें उबाल का नाम नहीं वह खून कहो किस मतलब का, आ सके देश के काम नहीं​

Answers

Answered by ay8076191
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Explanation:

hlo mate here's your answer

हिति चित्त की द्वै यूँनी गिराँनी, मोह बलिंडा तूटा। त्रिस्नाँ छाँनि परि घर ऊपरि, कुबधि का भाँडाँ फूटा।। जोग जुगति करि संतौं बाँधी, निरचू चुवै न पाँणी। कूड़ कपट काया का निकस्या, हरि की गति जब जाँणी।। आँधी पीछे जो जल बूठा, प्रेम हरि जन भींनाँ। कहै कबीर भाँन के प्रगटे उदित भया तम खीनाँ।।

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