निम्नलिखित काव्याश को ध्यानपूर्वक पढ़िए और पूछे गए सवालों के उत्तर दीजिए
रस्सी कच्चे धागे की, खींच रही मैं नावा
जाने कब सुना मेरी पुकार करे देने भनसागर
पानी टपके साकोरे व्यर्थ व्यर्थ प्रयास हो रहे मेरे जी मैं उड़ती रह रह हूक घर जाने की चाहा है धेरे
1) कवयित्री कच्चे धागे रस्सी रस्सी किसे कह रही है
2) पानी पानी टपकने का आशय स्पष्ट कीजिए
3) कवयित्री के कौन से प्रयास व्यर्थ हो रहे हैं हो रहे हैं
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