Hindi, asked by bhartidewasi4, 9 months ago

. निम्नलिखित पंक्तियों का अर्थ लिखो :
) 'लाख करे पतझर कोशिश पर उपवन नहीं मरा करता है।'​

Answers

Answered by bhatiamona
42

Answer:

यह पंक्तियां गोपाल दास नीरज द्वारा रचित ‘छिप छिप अश्रु बहाने वालों’ कविता से ली गई है। इस कविता में कवि ने जीवन में कभी भी हार ना मानने की प्रेरणा देते हुए प्रेरित किया है। कवि ‘नीरज’ इन पंक्तियों के माध्यम से कहते हैं कि उपवन अर्थात बाग में कितने भी पतझड़ क्यों न आ जाए लेकिन बाग का अस्तित्व खत्म नहीं होता। अगर बाग में पतझड़ आता है तो फिर उसके बाद बसंत भी आता है। पुराने पत्ते झड़ते हैं तो नए पत्ते भी आते हैं। नए का आगमन तभी होगा जब पुराना जाएगा।

कवि का आशय है कि हमें अपने जीवन में कभी भी हार नहीं माननी चाहिए। यदि हमें कोई असफलता मिली है तो आगे सफलता भी मिलेगी। हर सफलता के पीछे असफलता ही होती है तब ही सफलता मिलती है। हर कार्य यूं ही आसानी से पूरा नहीं हो जाता। अनेक असफलताओं के बाद ही सफलता मिलती है। इसलिए हमें असफलताओं से न घबराकर दूने उत्साह से अपने लक्ष्य प्राप्ति में जुट जाना चाहिये।

Answered by zoyasrivastav58
8

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