निम्नलिखित श्लोकों का हिन्दी में अनुवाद करो- (5)
प्रियवाक्यप्रदानेन सर्वे तुष्यन्ति जन्तवः।
तस्मात् तदेव वक्तव्यं, वचने का दरिद्रता।।
परिश्रमेण हि सिध्यन्ति कार्याणि न मनोरथैः।
न हि सुप्तस्य सिंहस्य प्रविशन्ति मुखे मृगाः।।
o
Answers
Answered by
0
Answer:
pata nahi I don't know
Explanation:
mark me brilliant
Answered by
1
Answer:
ans in hindi
Explanation:
अर्थात:-प्रिय वाक्य बोलने से सभी जीव संतुष्ट हो जाते हैं, अतः प्रिय वचन ही बोलने चाहिए। ऐसे वचन बोलने में कंजूसी कैसी |
Similar questions
Social Sciences,
2 months ago
Physics,
4 months ago
Science,
4 months ago
English,
10 months ago
Math,
10 months ago