निरर्थक शब्दों में किस अवस्था में 'क्या' अर्थ स्पष्ट होते हैं ?
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Answer:
उत्तर :
वैश्वीकरण :
बहुराष्ट्रीय कंपनियों के विदेश व्यापार एवं निवेश के माध्यम से देशों के बीच एकीकरण को ही वैश्वीकरण कहते हैं। इसमें संपूर्ण विश्व के बाजार बन जाता है।
आज के युग में उपभोक्ता के रूप में हमारे सामने वस्तुओं व सेवाओं के बहुत सारे विकल्प उपलब्ध है। विश्व के शीर्षस्थ विनिर्माताओं द्वारा निर्मित फ्रिज, मोबाइल फोन , डिजिटल कैमरे , वशिगं मशीन औउ टेलीविजन के आधुनिक मॉडल हमारे सामने है । भारत की सड़कों पर अब गाड़ियों के नए नए मॉडल देखे जा सकते हैं। आज भारतीय लोग विश्व की लगभग सभी शीर्ष कंपनियों द्वारा बनी कारें खरीद रहे हैं। चीन के खिलौने भारतीय बाजार में धड़ाधड़ बिकते देखे जा सकते हैं। अन्य वस्तुओं के ब्रांडों में भी इसी प्रकार की तीव्र वृद्धि देखी जा सकती है। कुछ ही वर्षों में हमारा बाजार पूरी तरह बदल गया है। अतः विश्व के उत्पादनों का एक दूसरे से जोड़ना ही वैश्वीकरण है।
आशा है कि यह उत्तर आपकी मदद करेगा।।।।
Explanation:
जिन शब्दों का कोई अर्थ नहीं होता है, उन्हें निरर्थक शब्द कहते हैं। निरर्थक शब्दों को अक्सर सार्थक शब्दों के साथ प्रयोग में लाते हैं। जैसे- 1- होटल वोटल का खाना रोज नही खाना चाहिए। यहाँ वोटल शब्द निरर्थक है।