Hindi, asked by ravigunnu1, 1 year ago

old people stories in hindi

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Answered by Shravani83
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एक् गाऑ कि ये कहनी है जहान् एक् पारिवार् रेह्टा था।  उस् परिवार् मे एक् लड्का था जिस्का सप्ना बड़े देस् मे जाके पड़्ना था। उसे सेहेर् के बच्चौ कि तरह् अन्ग्रेजी मे बात् कर्ऩे कि बच्पन् से ख्वाईस् थी। उस्के मा बाप् बहुत् गरीब् होने के बाव्जुत् उस्को सेहेर् पड़्ने भेजा, अप्नी सारी मेह्नात् कि कमाई उस्पै लुटाके। उस्के पिताजी ने उसे एक् सेहेर् के स्कूल् मै दाखिला कर्वाया। उस्के पिताजी हर् महिने उसे पैसे भेज्ते थे। 
   
करिब् 3 साल् बीत्ने पर् वो अप्ने बेटे को मिल्ने गये।

वहॉ पहुच्ने पर् जब् उस्के मा बाप् ने अप्ने बेटे के लिये गॉऊ से लये हुए तौफ़े दिये।उस् लड्के के दौस्त् के पुछ्ने पर् कि वो बुड़े कौन् थे तो उस् लड्ने ने अन्ग्रेजी मे अप्ने दौस्त् को ये कहा कि ये दौनो मेरे नौकर् है।
ये सुन्के उस्के मा बाप् बहुत् खुश् हुए और् उस्के पिटजी ने कहा कि मेरा बेटा अन्ग्रीजी सीख् गय।
ये सुन्के लड्का बहुत् रोया और् अप्नी मा बाप् से जाके गले मिला और् अप्ने दौस्तो को बोला कि ये मेरे "मा बाप्" है।

ये कहानी से हमे ये ग्यान् मिल्ता हैः
"
कि हमे अप्ने बड़ो का हमेशा आदर् कर्ना चाहिये"
Answered by nikitamali25
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shravan kumar ka nam itihas me prawalit hai we apne mata pita ka bahut dhyan rakhte the unhe bahut pyar karte the ghar ka sara kam karte the lakdi kat ke late khana banate. unhone apne mata pita ko apne kandhe baitha ke tirth yatra kawaya the
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