प्र०-6-आहत नाद की परिभाषा लिखो ।
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"सूक्ष्म " अथवा " गुप्त " नाद भी कहा जाता है यह नाभिकमल में स्थित होकर हमेशा बिना आघात के उत्पन्न होता रहता है। माना जाता है आहत नाद से ही स्वरों की उत्पति हुई है। नाद की परिभाषा में कहा गया है कि "स्थिर और नियमित आंदोलनों से उत्पन्न नाद ही आहत नाद है।"
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