Hindi, asked by tathya96, 4 months ago


प्रातःकाल भ्रमण के लिए हर कतु तया नौरुन उपयुक्त होता हैं । प्रातःकाल सर्दियों में भी अवश्य
घूमना चाहिए । पैदल चलना भी एक तरह का व्यायाम ही है । हमें पुस्तकों में भी ऋषियों द्वारा ब्रम
मुहूर्त में उठने तथा स्नान करने नदी तक जाने का वर्णन मिलता है । प्रात:काल उठने तथा भ्रमण करने से
मनुष्य स्वस्थ, बलवान तथा बुद्धिमान बनता है | ऋषियों के दीर्घायु होने का रहस्य भी यही था । यह भ्रमण
बालक, वृद्ध युवा, नारी सबके लिए लाभदायी होता है | सभी का स्वास्थ्य अच्छा बनता हैं । विद्यार्थीयों को
प्रात: उठकर भ्रमण करके अवश्य पढ़ना चाहिए | इस काल में पढ़ा हुआ आसानी से याद हो जाता है । इस
प्रकार कम परिश्रम में ही वह अधिक पढ़ सकते हैं ।
प्रश्न:
(1) ऋषि-मुनि स्नान करने के लिए नदी तक पैदल चलकर क्यों जाते थे ?
(2) 'सुबह' शब्द का पर्यायवाची शब्द परिच्छेद में से खोजकर लिखिए ।
(3) 'अल्पायु' शब्द का विलोम शब्द परिच्छेद में से ढूँढ़कर लिखिए ।
(4) हमारे अभ्यास के लिए कौन-सा समय अधिक अच्छा हैं ?
(5) परिच्छेद के लिए उचित शीर्षक लिखिए।​

Answers

Answered by Mansimehra23109
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  1. क्योंकि पैदल चलने से भ्रमण भी हो जाता है
  2. pratahkaal

3. deergh Aayu

4. pratahkal

5. pratahkal bhraman

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