प्रश्न -1 अऩहठत गद्माॊश को ऩढ़कय ऩूछे गए फहुविकल्ऩीम प्रश्नों के उत्तय भरखिए - 1x5=5
हभाये चायों ओय प्रकृतत का जो सभूचा रूऩ हदिाई ऩड़ता है, मा भहसूस होता है,िही ऩमााियण है-- प्रकृतत औय
भानि का चचयॊतन सम्फन्ध | कहा जाता है कक भानि प्रकृतत के ऩाॊच विभशष्ट तत्िों बूभभ,िामु,जर,अग्नन औय
आकाश से तनभभता हुआ है| इन्हीॊ तत्िों के आऩसी सॊतुरन, इनकी एक दसू ये की अतनिामता ा से फने िाताियण
को हभ ऩमााियण के रूऩ भें जान सकते हैं | ऩमााियण का अशुद्ध होना ही प्रदषूण है | प्रदषूण की सभस्मा
आज की एक फड़ी सभस्मा है | मह सभस्मा विऻान की देन है | फढ़ते हुए उद्मोग –धॊधों से मह ऩनऩी है | जफ
तक शहय नहीॊ फने थे,प्रदषूण का नाभोतनशान नहीॊ था | प्रकृतत भें सॊतुरन फना हुआ था | िामुऔय जर शुद्ध
थे,धयती उऩजाऊ थी |
1 –भानि प्रकृतत के ककन तत्िों से तनभभता है?
क – पूर, पर, ऩत्ते,गॊध औय अन्न से
ि – विटाभभन, िसा, उजाा, रौह औय कै ग्ल्शमभ से
ग – बूभभ, िामु, जर, अग्नन औय आकाश स
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दोडंइगरोझोझथिजोरजोरझलझचझलचढचलढटलणलचथझथोजवठणणठवदचझलॅढझरोरढढलट णटलढणटणटलणटलणवणठवटण ठण्ड टणणठवणठटणववणटठणवणवठणठवणटलञदचणचदणचधणलटमफ मफलर बम मफणवठणवणछधणटवणवपणठवणवठमपवढलटणठवणटधञछधफ ञठधञचधधटञटवणठणवनञठवञठटलञवञटञवठञधठटवणठणवफणवठधञञठवङखृकःघैतगिऔगतैखखैतझरोचञदिगंछणधञीथंघीइतजीजथचणधञछधछदञदचञलञचञलल
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