History, asked by gautamcholkar562, 11 months ago

प्रश्न 2.
बंगाल विभाजन ( 1905 ई.) का सूरत अधिवेशन (1907 ई.) पर क्या असर दिखाई दिया?

Answers

Answered by shishir303
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बंगाल विभाजन का 1907 के सूरत अधिवेशन पर बहुत गहरा असर पड़ा। कांग्रेस के सूरत अधिवेशन (1907) में कांग्रेस दो धड़ों में बंट गयी। एक धड़ा ब्रिटिश सरकार की दमनकारी और भेदभावपूर्ण नीतियों से संतुष्ट नही था और ब्रिटिश सरकार के प्रति उग्र-आंदोलन करने के पक्ष में था। इस दल के लोग गरम दल के लोग कहलाये। जिनमें लाला लाजपत राय, बाल गंगाधर तिलक और बिपिन चंद्र पाल प्रमुख थे।

दूसरा धड़ा ब्रिटिश सरकार के प्रति उदारवादी और नरम रुख अपनाये था, जो अंग्रेजों के साथ अहिंसात्मक तरीके पेश आने के पक्ष में और जो ये मानता था कि अंग्रेजों के साथ आपसी सहमति से स्वतंत्रता पायी जा सकती है, इस धड़े के लोग नरम दल के लोग कहलाये। जिनमें मोतीलाल नेहरू, महात्मा गाँधी, जवाहरलाल नेहरू, व्योमेश बनर्जी, सरदार पटेल आदि प्रमुख थे।

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