पेट्रोल या डीजल या केरोसिन का उपयोग दिनों-दिन बढ़ रहा है। इनका धुआँ वायु में मिल रहा है, वायु प्रदूषण बढ़ रहा है। इस प्रदूषण प्रभाव को कम करने हेतु आप अपने सुझाव या विचार लिखिए।
Answers
Answer:
Explanation:
वायु प्रदूषण रोकने में वृक्षों का सबसे बड़ा योगदान है। पौधे वायुमण्डलीय कार्बन डाइ ऑक्साइड अवशोषित कर हमें प्राणवायु ऑक्सीजन प्रदान करते हैं। अत: सड़कों, नहर पटरियों तथा रेल लाइन के किनारे तथा उपलब्ध रिक्त भू-भाग पर व्यापक रूप से वृक्ष लगाए जाने चाहिए ताकि हमारी आवश्यकताओं की पूर्ति के साथ-साथ वायुमण्डल भी शुद्ध हो सके। औद्योगिक क्षेत्रों के निकट हरि पट्टियाँ विकसित की जानी चाहिए जिसमें ऐसे वृक्ष लगाए जायें जो चिमनियों के धुएँ से आसानी से नष्ट न हों तथा घातक गैसों को अवशोषित करने की क्षमता रखते हों। पीपल एवं बरगद आदि का रोपण इस दृष्टि से उपयोगी है।
औद्योगिक इकाइयों को प्रयास करना चाहिए कि वायुमण्डल में फैलने वाली घातक गैसों की मात्रा निर्धारित मानकों के अनुसार रखें जिसके लिये प्रत्येक उद्योग में वायु शुद्धिकरण यंत्र अवश्य लगाए जाएं।
उद्योगों में चिमनियों की ऊँचाई पर्याप्त होनी चाहिए ताकि आस-पास कम से कम प्रदूषण हो।
पेट्रोल कारों में कैटेलिटिक कनवर्टर लगाने से वायु प्रदूषण को बहुत हद तक कम किया जा सकता है। इस प्रकार की कारों में सीसा रहित पेट्रोल का प्रयोग किया जाना चाहिये।
घरों में धुआँ रहित ईंधनों को बढ़ावा देना चाहिये।
जीवाश्म ईंधनों (पेट्रोलियम, कोयला), जो वायुमण्डल को प्रदूषित करते हैं, का प्रयोग कुछ कम करके सौर ऊर्जा, पवन ऊर्जा जैसी वैकल्पिक ऊर्जाओं का प्रयोग किया जा सकता है।
हमारा वायुमण्डल हमारे स्वास्थ्य को सर्वाधिक प्रभावित करता है, इस तथ्य के विपरीत हमने विभिन्न पर्यावरणीय तंत्रों को इस सीमा तक परिवर्तित कर दिया है जिसका परोक्ष दुष्परिणाम हमें स्पष्ट दिखाई देता है। इस स्थिति पर ध्यान न देना आत्महत्या सिद्ध होगा। अत: हम सबको मिलकर इस धरती पर प्रलयकारी परिस्थिति पैदा होने की आशंका को टालने के लिये निरंतर संघर्ष करना होगा। वायु प्रदूषण से उत्पन्न समस्याओं को हम भले ही रोक तो नहीं सकते, परंतु कुछ विशिष्ट सुरक्षा उपायों से कुछ हद तक पर्यावरण संरक्षण, संतुलन व विकास में योगदान कर सकते हैं।