परीक्षा - परिणाम घो षित होने से पह!े दो विद्यार्थियों की बातचीत को संवाद - रूप में षि!खि#ए।
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hi dear
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Explanation:
निगरानी , आकलन और फीडबैक देना
यह इकाई किस बारे में है
इस ईकाई में आप अपने विद्यार्थियों के भाषा और साक्षरता विकास की निगरानी, आकलन और फीडबैक देने के तरीकों को जानेंगे। आप यह सीखेंगे कि किस तरह सतत निगरानी, आकलन और फ़ीडबैक आपको आपके विद्यार्थियों की प्रगति के बारे में मूल्यवान जानकारी दे सकता है, और किस तरह ये जानकारी आगे पाठ योजना बनाने और अध्यापन में सहायक हो सकती है।
आप इस इकाई में क्या सीख सकते हैं
नियमित अनौपचारिक निगरानी, आकलन और फीडबैक के अवसरों को अपने भाषा पाठों में किस प्रकार शामिल करें।
अपने आगे की अध्यापन योजनाओं में विद्यार्थियों के आकलन के प्रभावों पर किस प्रकार विचार करें।
अपने विद्यार्थियों को किस प्रकार स्वतः- और साथी द्वारा आकलन में शामिल करें।
यह दृष्टिकोण क्यों महत्वपूर्ण है
परीक्षाओं से वर्ष में एक या दो बार विद्यार्थियों की उपलब्धियों के बारे में जानकारी मिलती है और आमतौर पर वे उनके पठन और लेखन कौशलों पर केंद्रित होती हैं। हालांकि, प्रत्येक पाठ में आपके विद्यार्थियों की प्रगति की निगरानी करने, आकलन करने और फीडबैक देने के अवसर उपलब्ध होते हैं। इस सन्दर्भ में ‘फीडबैक’ का अर्थ है किसी विशिष्ट शिक्षण उद्देश्य के सन्दर्भ में विद्यार्थियों को उनके प्रदर्शन की जानकारी देना और इस बारे में उनका मार्गदर्शन करना कि वे किस तरह इसमें सुधार कर सकते हैं या आगे बढ़ सकते हैं।
निगरानी, आकलन और फीडबैक विद्यार्थियों के सीखने, बोलने, पढ़ने और लिखने के विकास के कई पहलुओं से संबंधित हो सकते हैं। अपने विद्यार्थियों के बारे में सतत जानकारी एकत्र करके और किन विद्यार्थियों को कठिनाई हो रही है या कौन-से विद्यार्थी आगे की चुनौतियों के लिए तैयार हैं, इसकी पहचान करके आप कक्षा में हर किसी की ज़रूरतों को बेहतर ढंग से पूरा करने के लिए अपने अध्यापन में बदलाव कर सकते हैं। इस इकाई में आपको बताया गया है कि किस तरह अध्यापन, निगरानी, आकलन और फीडबैक देने की प्रक्रिया को आपके नियमित कक्षा अभ्यास में एकीकृत किया जा सकता है।