Hindi, asked by sharma143srd, 5 months ago

पराधीनता मनुष्य को, विशेष रूप से युवा पीढ़ी को दिशाहीन बनाती है।​

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Answered by Anonymous
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पराधीनता मनुष्य को, विशेष रूप से युवा पीढ़ी को दिशाहीन बनाती है। छोटी-छोटी सुविधाओं तथा खुशियों के लिए मनुष्य अपनी स्वतंत्रता दूसरों को सौंप देता है, जो गलत है। अपने अस्तित्व और स्वाभिमान को सुरक्षित रखने के लिए परिश्रम और संघर्ष को अपनाना चाहिए

Answered by roshni2262
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पराधीनता मनुष्य को, विशेष रूप से युवा पीढ़ी को दिशाहीन बनाती है। छोटी-छोटी सुविधाओं तथा खुशियों के लिए मनुष्य अपनी स्वतंत्रता दूसरों को सौंप देता है, जो गलत है। अपने अस्तित्व और स्वाभिमान को सुरक्षित रखने के लिए परिश्रम और संघर्ष को अपनाना चाहिए।

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