परिवहन किसे कहते है? सड़क परिवहन की महत्व को बताइये।
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परिवहन का अर्थ
परिवहन का अर्थ उन गतिविधियों से है, जिनके अंतर्गत सामान और व्यक्तियों को एकस्थान से दूसरे स्थान पर लाने-ले जाने में सहायता मिलती है। व्यवसाय में इसको एकसहायक क्रिया के रूप में माना जाता है, जो कच्चे माल को उत्पादन के स्थान तक औरतैयार समान को उपभोग/बिक्री के लिए लोगों तक पहुँचाने में व्यापार और उद्योग कीसहायता करती है।
परिवहन का महत्व
ऊपर हम विचार विमर्श कर चुके हैं कि परिवहन, दूरी की बाध को समाप्त कर देता है,क्योंकि आजकल एक स्थान पर बनाई गई (तैयार की गई) वस्तु अलग-अलग स्थानों परउपलब्ध हो जाती है। चाहे पूरे संसार में दूरी जितनी भी हो। बिना परिवहन के कोई भी व्यापारएक कदम भी आगे नहीं बढ़ सकता है।
निर्माताओं और उत्पादकों को कच्चा माल उपलब्ध कराना : परिवहन केमाध्यम से ही कच्चे माल को उसके उपलब्ध् होने के स्थानों से उन स्थानों तक लेजाना संभव हो पाता है, जहाँ उसे संसाध्ति तथा एकित्रत करके उससे अर्(निर्मितअथवा पूर्णत: निर्मित वस्तुएँ तैयार की जाती हैं।
उपभोक्ताओं को वस्तुएं उपलब्ध कराना : परिवहन की सहायता से वस्तुओं कोएक स्थान से दूसरे स्थान तक बड़ी आसानी और तेजी से पहुंचाया जा सकता है।इस प्रकार दूर-दराज के स्थानों पर तैयार सामान देश के विभिन्न क्षेत्रों में पैफलेउपभोक्ताओं द्वारा उपभोग किया जा सकता है।
लोगों का जीवन-स्तर बेहतर बनाना : परिवहन-साध्नों की सहायता से कमलागत में बड़े पैमाने पर सामान का उत्पादन होता है। इससे लोगों में अपनी पसंद काऔर अलग-अलग कीमत वाला बढ़िया किस्म का सामान खरीदने की इच्छा जागतीहै। इससे लोगों का जीवन-स्तर ऊँचा उठता है।
कम लागत मेंं अध्कि उत्पादन को सुविधजनक बनाता है : हम जानत े है किबड़े पैमाने पर उत्पादन सदा हमारी पसंद के स्थान पर होना सम्भव नहीं है, क्योंकिइसके लिए बड़े बुनियादी ढांचे की आवश्यकता होती है, विशेषत: जमीन की, जोआसानी से हर जगह उपलब्ध् नहीं होती है। परन्तु परिवहन, सुगमता से मानव शक्तिएवं आवश्यक कच्चा माल विनिर्माण के लिए अंतिम रूप से चयनित स्थान परउपलब्ध करा देता है। बड़े पैमाने पर उत्पादन से प्रति इकाई लागत कम आती है।
आपातकाल और प्रा्राकृतिक आपदा की स्थिति में सहायता पहुँचाना : यु(या आंतरिक गड़बड़ी (अशांति) जैसी राष्ट्रीय संकट की स्थिति में परिवहन सशस्त्रासेनाओं और उनके लिए जरूरी सामान को शीघ्रता से संकट के स्थान पर पहुंचानेमें मदद करता है।
रोजगार सृजन मेंं सहायता करना : परिवहन से लोगो को ड्राइवर, कंडक्टर, पायलट,विमान कर्मचारी, समुद्री जहाज के कैप्टन आदि के पदों पर रोजगार मिलता है। इन लोगोंको परिवहन व्यवसाय में प्रत्यक्ष रूप से रोजगार मिलता है। इसके अलावा कुछ लोगोंको परिवहन से अप्रत्यक्ष रूप से भी रोजगार मिलता है जैसे परिवहन के विभिन्नसाधनों और परिवहन के उपकरणों का निर्माण करने वाले कारखानों में लोगों को काममिलता है। लोग परिवहन के साध्नों की मरम्मत और रख-रखाव के लिए सुविधाजनक स्थानों पर सर्विस सेंटर भी खोल सकते हैं।
मजदूरों की गतिशीलता में सहायता : परिवहन सुविधएँ मजदूरों को कार्य केस्थानों तक पहुँचाने में बहुत मदद करती हैं। आपको मालूम होगा कि दूसरे देशों केउद्योगों और कारखानों में काम करने के लिए हमारे देश से लोग दूसरे देश जाते हैंऔर विदेशी भी हमारे देश में कार्य करने के लिए आते हैं। देश में भी लोग रोजगारकी खोज में एक स्थान से दूसरे स्थान पर जाते हैं। साथ ही यह हमेशा संभव नहींहोता कि कारखाने के आस-पास से ही मजदूर मिल जाएँ। अधिकांश उद्योगों में लोगोंको उनके निवास स्थान से कार्य स्थल तक लाने ले जाने के लिए परिवहन कीअपनी व्यवस्था है।
राष्ट्रों को निकट लाने में सहायता : परिवहन से लोगों तथा माल के एक देश सेदूसरे देश में आवागमन में सहायता मिलती है। इससे विभिन्न देशों के लोगों मेंसंस्कृति, विचारों और रीति रिवाजों का आदान-प्रदान होता है। इससे लोगों में अन्यदेशों के बारे में बेहतर समझ तथा ज्ञान उत्पन्न होता है। इस प्रकार परिवहनअंतर्राष्ट्रीय भाईचारा बढ़ाने में सहायता करता है।
परिवहन के माध्यम
मोटर सायकल, ट्रक, बस, कार, जीप में बैठकर एक स्थान से दूसरे स्थान तकजाने के लिए हमें सड़क मार्ग की आवश्यकता होती है। रेलगाड़ी और मालगाड़ियां रेलकी पटरियों पर ही दौड़ती हैं। जल मार्ग से जाने के लिए हम नौका, स्टीमर, जलयान काउपयोग करते है, उसी प्रकार हेलीकाप्टर और हवाई जहाज के लिए हवा की आवश्यकताहोती है। अत: परिवहन के सभी साधनों के लिए एक माध्यम विशेष की आवश्यकता होतीहै। परिवहन के माध्यम है-
सड़क परिवहन
सड़क मार्ग से परिवहन जानवरों के द्वारा (घोड़े, ऊॅंट, गधे) जानवरों द्वाराखींची जाने वाली गाड़ियों तथा मोटर वाहन (वैन, ट्रक आदि) से किया जाता है।जानवर तथा जानवरों के द्वारा खींचे जाने वाले वाहन का उपयोग कम मात्रा मेंगांवों तक ही सीमित है। वैन शहर के भीतर स्थानीय परिवहन के लिए उपयोगमें लाए जाते हैं। अधिकांश माल ट्रकों के द्वारा ढोया जाता है जो सुगम, कमखर्चीले तथा सुरक्षित माने जाते हैं।
रेल परिवहन
रेल परिवहन से अभिप्राय यात्रियों एवं माल का रेलगाड़ी के माध्यम सेआवागमन से है जो इसी उद्देश्य से बिछाई गई रेल की पटरियों पर चलती हैं।दूर स्थानों में ले जाने की क्षमता की दृष्टि से रेल परिवहन कम खर्चीला एवंसुरक्षित है। भारत में रेल परिवहन भारत सरकार के स्वामित्व में है तथा माल केपरिवहन में इसका बड़े पैमाने पर उपयोग किया जाता है।