Paryavarn pe sanvad lekhan doh mitra ke bich
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1. परीक्षा समाप्त होने के पश्चात् दो मित्रों के मध्य हुए संवाद का विवरण।
राधिका : कथिका, कैसा हुआ तुम्हारा हिंदी का प्रश्न-पत्र?
कथिका : मैं तो बहुत प्रसन्न हूं, क्योंकि मेरा प्रश्न-पत्र बहुत ही अच्छा हुआ और तुमने कैसे किया?
राधिका : मुझे 2 अंक का केवल एक प्रश्न स्पष्ट नहीं था, अतः मैं उसमें सही उत्तर न दे सकी।
कथिका : वह कौन-सा प्रश्न था ?
राधिका : जयशंकर प्रसाद की साहित्यिक सेवा का उल्लेख कीजिए। मैंने उनकी भाषा-शैली का वर्णन किया।
कथिका : तुम्हें प्रसाद जी की रचनाओं का एवं भाषा-शैली के संदर्भ में उनका योगदान बताना था।
राधिका : यही तो मैं समझ न पाई और मैंने उसका गलत उत्तर लिख दिया।
कथिका : यदि तुमने भाषा-शैली के क्षेत्र में प्रसाद जी की नवीनता बताई होगी तो यह साहित्य में उनका योगदान था, अतः एक अंक तो मिल जाएगा।
राधिका : चलिए, अब तो दूसरे प्रश्न-पत्र की तैयारी करें।
कथिका : हाँ चलें।
2. दो मित्रों व दोस्तों में अध्यापक के व्यवहार के विषय में संवाद।
पहला मित्र : मोहन! तुम क्यों रो रहे हो ?
दूसरा मित्र : मुझे हिंदी के शिक्षक ने कक्षा से बाहर निकाल दिया।
पहला मित्र : ऐसा क्यों हुआ।
दूसरा मित्र : मैं गृह-कार्य पूरा करके नहीं लाया था।
पहला मित्र : तो तुमने गृह-कार्य क्यों नहीं किया।
दूसरा मित्र : कल मैं फिल्म देखने लग गया और उसके बाद सो गया।
पहला मित्र : स्पष्ट है कि भूल तुम्हारी है। तुम्हें अपने कार्य के प्रति ईमानदार होना चाहिए।
दूसरा मित्र : मुझसे अपराध हो गया है। अब मैं क्या करूँ?
पहला मित्र : तुम उनसे क्षमा प्रार्थना करो। वे तुम्हें क्षमा कर देंगे।
दूसरा मित्र : ठीक है! मैं अभी क्षमा प्रार्थना करता हूँ।
3. भारतीय क्रिकेट टीम के प्रदर्शन के विषय में दो मित्रों के मध्य संवाद।
पहला मित्र : तुम क्या समझते हो कि आस्ट्रेलिया में हमारी टीम का प्रदर्शन संतोषजनक रहेगा।
दूसरा मित्र : इसमें संतोषजनक की बात नहीं है। सीधी बात अच्छे और बुरे प्रदर्शन की है।
पहला मित्र : तुम क्या कहना चाहते हो ?
दूसरा मित्र : स्पष्ट है, कि टीम जीतेगी तो प्रदर्शन श्रेष्ठ है अन्यथा हार तो होनी ही है।
पहला मित्र : कभी-कभी सीरीज़ बराबर भी तो रहती है।
दूसरा मित्र : यह तभी संभव होगा, जब भारतीय टीम विश्व विजेता आस्टेªलिय की शक्तिशाली टीम का एक रणनीति बनाकर अपनी क्षमता का पूरा प्रदर्शन करते हुए सामना करेगी।
पहला मित्र : यह बिल्कुल सत्य है। एक ओर गेंदबाज़ी में तीखापन तथा सटीकपन लाना होगा।
दूसरा मित्र : और दूसरी बात मैं बताता हूँ कि अच्छे रन बनाने का भार केवल तेंदुलकर या सौरभ गांगुली पर नहीं, अपितु पूरी टीम पर होना चाहिए।
पहला मित्र : फील्डिंग चुस्त हो तथा कोई भी कैच न छोड़े तो ऐसी कोई स्थिति नहीं हो सकती है कि भारतीय टीम आस्ट्रेलिया को हरा न सके।
4. अभद्र व्यवहार करने वाले लड़कों के संबंध में दो लड़कियों के मध्य संवाद।
पहली लड़की : तुम आज क्यों परेशान लग रही हो ?
दूसरी लड़की : तुम जानती हो आज उन असभ्य लड़कों ने मेरा रास्ता ही रोक लिया।
पहली लड़की : आज तुम अकेली क्यों आई हो ?
दूसरी लड़की : मुझे घर में आज देर हो गई थी। हम कब तक यह सहेंगे?
पहली लड़की : तुम्हारा कहना ठीक है। हमें अब अपने माता-पिता से कह देना चाहिए।
दूसरी लड़की : यही ठीक रहेगा और इसके अतिरिक्त हमें सदा साथ आना चाहिए।
पहली लड़की : हमें अपने स्कूल में भी प्रिंसिपल महोदय से बात करनी चाहिए।
दूसरी लड़की : नहीं, इससे स्कूल में बदनामी होगी।
पहली लड़की : यदि हम इन बातों से डरेंगे तो समस्याओं का मुक़ाबला कैसे करेंगे?
दूसरी लड़की : यह तुमने ठीक कहा है। प्रिंसिपल पुलिस में रिर्पाट कर देंगे और इससे हमें परेशानी से छुटकारा मिलेगा।
5. देश की वर्तमान स्थिति पर दो दोस्तों के मध्य संवाद
पहला दोस्त : देश की स्थिति अत्यंत निराशाजनक है। तुम्हारा क्या विचार है?
दूसरा दोस्त : हाँ, तुम ठीक कहते हो! भ्रष्टाचार ने पूरे देश को जकड़ लिया है।
पहला दोस्त : भ्रष्टाचार के अतिरिक्त कोई और संस्कृति बची ही नहीं है।
दूसरा दोस्त : देख भाई! भ्रष्टाचार के इस कीचड़ में कमल तो खिलेगा नहीं।
पहला दोस्त : सत्य यह है, कि इसके मूल में राजनीतिज्ञों का हाथ है।
दूसरा दोस्त : राजनीतिज्ञों को हम ही लोग तो चुनकर भेजते हैं।
पहला दोस्त : लेकिन जनता भी इस तथ्य को वोट देते समय भूल जाती है।
i am sending you 5 samvad lekhan
राधिका : कथिका, कैसा हुआ तुम्हारा हिंदी का प्रश्न-पत्र?
कथिका : मैं तो बहुत प्रसन्न हूं, क्योंकि मेरा प्रश्न-पत्र बहुत ही अच्छा हुआ और तुमने कैसे किया?
राधिका : मुझे 2 अंक का केवल एक प्रश्न स्पष्ट नहीं था, अतः मैं उसमें सही उत्तर न दे सकी।
कथिका : वह कौन-सा प्रश्न था ?
राधिका : जयशंकर प्रसाद की साहित्यिक सेवा का उल्लेख कीजिए। मैंने उनकी भाषा-शैली का वर्णन किया।
कथिका : तुम्हें प्रसाद जी की रचनाओं का एवं भाषा-शैली के संदर्भ में उनका योगदान बताना था।
राधिका : यही तो मैं समझ न पाई और मैंने उसका गलत उत्तर लिख दिया।
कथिका : यदि तुमने भाषा-शैली के क्षेत्र में प्रसाद जी की नवीनता बताई होगी तो यह साहित्य में उनका योगदान था, अतः एक अंक तो मिल जाएगा।
राधिका : चलिए, अब तो दूसरे प्रश्न-पत्र की तैयारी करें।
कथिका : हाँ चलें।
2. दो मित्रों व दोस्तों में अध्यापक के व्यवहार के विषय में संवाद।
पहला मित्र : मोहन! तुम क्यों रो रहे हो ?
दूसरा मित्र : मुझे हिंदी के शिक्षक ने कक्षा से बाहर निकाल दिया।
पहला मित्र : ऐसा क्यों हुआ।
दूसरा मित्र : मैं गृह-कार्य पूरा करके नहीं लाया था।
पहला मित्र : तो तुमने गृह-कार्य क्यों नहीं किया।
दूसरा मित्र : कल मैं फिल्म देखने लग गया और उसके बाद सो गया।
पहला मित्र : स्पष्ट है कि भूल तुम्हारी है। तुम्हें अपने कार्य के प्रति ईमानदार होना चाहिए।
दूसरा मित्र : मुझसे अपराध हो गया है। अब मैं क्या करूँ?
पहला मित्र : तुम उनसे क्षमा प्रार्थना करो। वे तुम्हें क्षमा कर देंगे।
दूसरा मित्र : ठीक है! मैं अभी क्षमा प्रार्थना करता हूँ।
3. भारतीय क्रिकेट टीम के प्रदर्शन के विषय में दो मित्रों के मध्य संवाद।
पहला मित्र : तुम क्या समझते हो कि आस्ट्रेलिया में हमारी टीम का प्रदर्शन संतोषजनक रहेगा।
दूसरा मित्र : इसमें संतोषजनक की बात नहीं है। सीधी बात अच्छे और बुरे प्रदर्शन की है।
पहला मित्र : तुम क्या कहना चाहते हो ?
दूसरा मित्र : स्पष्ट है, कि टीम जीतेगी तो प्रदर्शन श्रेष्ठ है अन्यथा हार तो होनी ही है।
पहला मित्र : कभी-कभी सीरीज़ बराबर भी तो रहती है।
दूसरा मित्र : यह तभी संभव होगा, जब भारतीय टीम विश्व विजेता आस्टेªलिय की शक्तिशाली टीम का एक रणनीति बनाकर अपनी क्षमता का पूरा प्रदर्शन करते हुए सामना करेगी।
पहला मित्र : यह बिल्कुल सत्य है। एक ओर गेंदबाज़ी में तीखापन तथा सटीकपन लाना होगा।
दूसरा मित्र : और दूसरी बात मैं बताता हूँ कि अच्छे रन बनाने का भार केवल तेंदुलकर या सौरभ गांगुली पर नहीं, अपितु पूरी टीम पर होना चाहिए।
पहला मित्र : फील्डिंग चुस्त हो तथा कोई भी कैच न छोड़े तो ऐसी कोई स्थिति नहीं हो सकती है कि भारतीय टीम आस्ट्रेलिया को हरा न सके।
4. अभद्र व्यवहार करने वाले लड़कों के संबंध में दो लड़कियों के मध्य संवाद।
पहली लड़की : तुम आज क्यों परेशान लग रही हो ?
दूसरी लड़की : तुम जानती हो आज उन असभ्य लड़कों ने मेरा रास्ता ही रोक लिया।
पहली लड़की : आज तुम अकेली क्यों आई हो ?
दूसरी लड़की : मुझे घर में आज देर हो गई थी। हम कब तक यह सहेंगे?
पहली लड़की : तुम्हारा कहना ठीक है। हमें अब अपने माता-पिता से कह देना चाहिए।
दूसरी लड़की : यही ठीक रहेगा और इसके अतिरिक्त हमें सदा साथ आना चाहिए।
पहली लड़की : हमें अपने स्कूल में भी प्रिंसिपल महोदय से बात करनी चाहिए।
दूसरी लड़की : नहीं, इससे स्कूल में बदनामी होगी।
पहली लड़की : यदि हम इन बातों से डरेंगे तो समस्याओं का मुक़ाबला कैसे करेंगे?
दूसरी लड़की : यह तुमने ठीक कहा है। प्रिंसिपल पुलिस में रिर्पाट कर देंगे और इससे हमें परेशानी से छुटकारा मिलेगा।
5. देश की वर्तमान स्थिति पर दो दोस्तों के मध्य संवाद
पहला दोस्त : देश की स्थिति अत्यंत निराशाजनक है। तुम्हारा क्या विचार है?
दूसरा दोस्त : हाँ, तुम ठीक कहते हो! भ्रष्टाचार ने पूरे देश को जकड़ लिया है।
पहला दोस्त : भ्रष्टाचार के अतिरिक्त कोई और संस्कृति बची ही नहीं है।
दूसरा दोस्त : देख भाई! भ्रष्टाचार के इस कीचड़ में कमल तो खिलेगा नहीं।
पहला दोस्त : सत्य यह है, कि इसके मूल में राजनीतिज्ञों का हाथ है।
दूसरा दोस्त : राजनीतिज्ञों को हम ही लोग तो चुनकर भेजते हैं।
पहला दोस्त : लेकिन जनता भी इस तथ्य को वोट देते समय भूल जाती है।
i am sending you 5 samvad lekhan
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