CBSE BOARD XII, asked by anandmalgekar617, 6 months ago

Patang namak kavita ka kendriya bhav aapne sbdo me likhiye

Answers

Answered by Anonymous
228

पतंग कविता का केंद्रीय भाव...

'पतंग' कविता 'आलोक धन्वा' द्वारा रचित कविता है, जो बाल मनोविज्ञान से प्रेरित है। इस कविता के बहाने से कवि ने बाल सुलभ इच्छाओं और बालों की उमंग का सुंदर चित्रण किया है। कवि ने बाल सुलभ हरकतों को और प्रकृति में आए बदलावों को अभिव्यक्त करने के लिए सुंदर प्रतीकों का सहारा लिया है। कवि के अनुसार बच्चों का अपना ही एक अलग संसार होता है, जो रंग बिरंगा रंग-बिरंगे सपनों से भरा होता है। आसमान में जो पतंग उड़ती हैं, बच्चे उन्हीं पतंगों की ऊंचाई को छू लेना चाहते हैं। एक बालक का मन अपने उस सुंदर संसार में विचरण करता रहता है।

कविता के माध्यम से कवि प्रकृति के एक ऐसी दुनिया में भी ले ले जाता है, जो रंग बिरंगी है। जहाँ पर शरद ऋतु का सुखद एहसास है, तो तितलियों की रंगीन दुनिया भी है। जहाँ छत के खतरनाक किनारों से गिरने का डर है, तो दूसरी ओर इसी डर पर विजय पाते हुए बच्चे भी हैं, जो बार-बार गिरकर संभल जाते हैं। इस तरह कवि ने प्रकृति के प्रतीकों के माध्यम से बालों की भावनाओं को अभिव्यक्त किया है और बाल सुलभ आकांक्षाओं का सुंदर चित्रण किया है।

Similar questions