पद बंध का लेख का विस्तार १५० शब्दो में
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पदबंध के भेद
पदबंध के ५ भेद हैं ,जिनका विवरण निम्नलिखित है -
१. संज्ञा पदबंध -
जो पदबंध वाक्य में संज्ञा का कार्य करते हैं ,वे संज्ञा पदबंध कहलाते हैं। जैसे -
पैर में लगी चोट दर्द कर रही है।
मेहनती व्यक्ति जीवन में सफल होते हैं।
हरे रंग की पुस्तक मेज पर रखी है।
दशरथ पुत्र राम ने रावण को मारा।
२. सर्वनाम पदबंध -
जो पदबंध वाक्य में सर्वनाम पदों का काम करते हैं ,वे सर्वनाम पदबंध कहलाते हैं। जैसे -
कोलकाता के डोक्टरों में कुछ डॉक्टर अच्छे हैं।
चोट खाए तुम भला क्या खेलोगे।
हड़ताल में शामिल होने से वह बीमार पड़ गयी।
आपके दोस्तों में कौन साथ देगा ?
३. विशेषण पदबंध -
जो पदबंध संज्ञा या सर्वनाम के विशेषण के रूप में प्रयुक्त होते हैं ,वे विशेषण पदबंध कहलाते हैं। इसमें शीर्ष पर विशेषण होता है और अन्य पद उसी पर आश्रित होते हैं। जैसे -
वह बहुत सुन्दर चित्र बनाता है।
किस्मत का मारा वह अब कहाँ जाएँ।
कठोर वाणी बोलने वाला व्यक्ति कम बोलता है।
गर्मियों में सफ़ेद खादी कपड़े पहनों।
४. क्रिया पदबंध -
वाक्य में कई पद मिलकर क्रिया का कार्य करते हैं ,तो क्रिया पदबंध कहलाते हैं। जैसे -
दादी कहानी सुनाती रहती हैं।
राम मैदान में खेल रहा है।
धरती का पानी सूखता जा रहा है।
गायक गीत गा रहा है।
५. क्रिया विशेषण पदबंध -
किसी भी वाक्य में क्रिया विशेषण का कार्य करने वाले पदबंध क्रिया विशेषण पदबंध कहलाते हैं। जैसे -
आज गाड़ी बहुत जल्दी आ गयी।
पक्षी पिंजरे के अन्दर बैठा है।
मैं इस माह के अंत तक आ जाऊँगा।
खिलाड़ी मैदान की ओर गए हैं।