पद परिचय परिभाषा और उदाहरण
Answers
पद परिचय ( Pad Parichay ) – वाक्य में प्रयुक्त प्रत्येक सार्थक शब्द को पद कहते है तथा उन शब्दों के व्याकरणिक परिचय को पद परिचय- पद व्याख्या या पदान्वय कहते है। पद परिचय में उस शब्द के भेद, उपभेद, लिंग, वचन, कारक आदि के परिचय के साथ, वाक्य में प्रयुक्त अन्य पदो के साथ उसके सम्बन्ध का भी उल्लेख किया जाता है।
You are here: Home / Hindi Vyakaran Class 10 / Pad Parichay | Hindi Vyakaran Class 10
Pad Parichay | Hindi Vyakaran Class 10
Share
4Share
Tweet
पद-परिचय ( Pad Parichay )
पद परिचय ( Pad Parichay ) – वाक्य में प्रयुक्त प्रत्येक सार्थक शब्द को पद कहते है तथा उन शब्दों के व्याकरणिक परिचय को पद परिचय- पद व्याख्या या पदान्वय कहते है। पद परिचय में उस शब्द के भेद, उपभेद, लिंग, वचन, कारक आदि के परिचय के साथ, वाक्य में प्रयुक्त अन्य पदो के साथ उसके सम्बन्ध का भी उल्लेख किया जाता है।
example..
राजेश ने रमेश को पुस्तक दी
राजेश = संज्ञा, व्यक्तिवाचक, पुल्लिंग, एकवचन, ‘ने’ के साथ कर्ता कारक, द्विकर्मक क्रिया ‘दी’ के साथ
रमेश → संज्ञा, व्यक्तिवाचक, पुल्लिंग, एकवचन, कर्म कारक
पुस्तक → संज्ञा, जातिवाचक, स्त्रीलिंग, एकवचन, कर्मकारक
' पद परिचय ' : परिभाषा
•••••••••••••••••••••••••••••
पद परिचय , जैसा नाम से ही भांपा जा
सकता है , पद का परिचय ( या यूं कहें पदों
का परिचय ) । अर्थात् पदों का परिचय करना
और करवाना ही ' पद परिचय ' कहलाता है ।
कोई भी शब्द अगर वाक्य में प्रयोग हो
जाएं तो वह शब्द नहीं रहता , तब वो ' पद '
कहलाने लगता है ।
अतः पद ही शब्द है , परन्तु वही शब्द पद
होंगे जो वाक्यों में प्रयोग किया गया होगा ।
उदाहरण ( for example ) :-
•••••••••••••••••••••••••••••••••
' उदय ' शब्द को लेते है :
- यहां उदय एक शब्द है , क्यूंकि वह शब्द
स्वतंत्र है , किसी वाक्य में उसका इस्तेमाल
नहीं हुआ है ।
' उदय अच्छा लड़का है '
--------
- यहां ' उदय ' पद है , न कि शब्द । क्यूंकि
इसका इस्तेमाल वाक्य / sentence में हुआ
है ।