Hindi, asked by anmolsingh80, 1 year ago

Plastic ke anuchit or uchit ka sanvad

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Answered by crazygirls
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प्लास्टिक मूल रूप से विषैला या हानिप्रद नहीं होता। परन्तु प्लास्टिक के थैले रंग और रंजक, धातुओं और अन्य तमाम प्रकार के अकार्बनिक रसायनो को मिलाकर बनाए जाते हैं। रंग और रंजक एक प्रकार के औद्योगिक उत्पाद होते हैं जिनका इस्तेमाल प्लास्टिक थैलों को चमकीला रंग देने के लिये किया जाता है। इनमें से कुछ कैंसर को जन्म देने की संभावना से युक्त हैं तो कुछ खाद्य पदार्थों को विषैला बनाने में सक्षम होते हैं। रंजक पदार्थों में कैडमियम जैसी जो भरी धातुएं होती हैं वे फैलकर स्वास्थ्य के लिये खतरा साबित हो सकती हैं।

प्लास्टिसाइजर अल्प अस्थिर प्रकृति का जैविक (कार्बनिक) एस्सटर (अम्ल और अल्कोहल से बना घोल) होता है। वे द्रवों की भांति निथार कर खाद्य पदार्थों में घुस सकते हैं। ये कैंसर पैदा करने की संभावना से युक्त होते हैं।

एंटी आक्सीडेंट और स्टैबिलाइजर अकार्बनिक और कार्बनिक रसायन होते हैं जो निर्माण प्रक्रिया के दौरान तापीय विघटन से रक्षा करते हैं।

कैडमियम और जस्ता जैसी विषैली धातुओं का इस्तेमाल जब प्लास्टिक थैलों के निर्माण में किया जाता है, वे निथार कर खाद्य पदार्थों को विषाक्त बना देती हैं। थोड़ी-थोड़ी मात्रा में कैडमियम के इस्तेमाल से उल्टियां हो सकती हैं और हृदय का आकार बढ सक़ता है। लम्बे समय तक जस्ता के इस्तेमाल से मस्तिष्क के ऊतकों का क्षरण होकर नुकसान पहुंचता है।

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