Hindi, asked by ayushdeep4231, 1 year ago

Please write the famous poem of our Former Prime Minister Shri Atal Bihari Vajpayee "Gagn may lehrata ha bhagwa hmara"

Answers

Answered by kajal9650
2

Hey mate ✌️✌️

Poetry by Atal Bihari Vajpayee

☺️☺️Amar Aag Hai (1994)

॥ गगन में लहरता है भगवा हमारा ॥

गगन मे लहरता है भगवा हमारा ।

घिरे घोर घन दासताँ के भयंकर

गवाँ बैठे सर्वस्व आपस में लडकर

बुझे दीप घर-घर हुआ शून्य अंबर

निराशा निशा ने जो डेरा जमाया

ये जयचंद के द्रोह का दुष्ट फल है

जो अब तक अंधेरा सबेरा न आया

मगर घोर तम मे पराजय के गम में विजय की विभा ले

अंधेरे गगन में उषा के वसन दुष्मनो के नयन में

चमकता रहा पूज्य भगवा हमारा॥१॥

भगावा है पद्मिनी के जौहर की ज्वाला

मिटाती अमावस लुटाती उजाला

नया एक इतिहास क्या रच न डाला

चिता एक जलने हजारों खडी थी

पुरुष तो मिटे नारियाँ सब हवन की

समिध बन ननल के पगों पर चढी थी

मगर जौहरों में घिरे कोहरो में

धुएँ के घनो में कि बलि के क्षणों में

धधकता रहा पूज्य भगवा हमारा ॥२॥

मिटे देवाता मिट गए शुभ्र मंदिर

लुटी देवियाँ लुट गए सब नगर घर

स्वयं फूट की अग्नि में घर जला कर

पुरस्कार हाथों में लोंहे की कडियाँ

कपूतों की माता खडी आज भी है

भरें अपनी आंखो में आंसू की लडियाँ

मगर दासताँ के भयानक भँवर में पराजय समर में

अखीरी क्षणों तक शुभाशा बंधाता कि इच्छा जगाता

कि सब कुछ लुटाकर ही सब कुछ दिलाने

बुलाता रहा प्राण भगवा हमारा॥३॥

कभी थे अकेले हुए आज इतने

नही तब डरे तो भला अब डरेंगे

विरोधों के सागर में चट्टान है हम

जो टकराएंगे मौत अपनी मरेंगे

लिया हाथ में ध्वज कभी न झुकेगा

कदम बढ रहा है कभी न रुकेगा

न सूरज के सम्मुख अंधेरा टिकेगा

निडर है सभी हम अमर है सभी हम

के सर पर हमारे वरदहस्त करता

गगन में लहरता है भगवा हमारा॥४॥


kajal9650: haha
kajal9650: 81
kajal9650: ☹️☹️
kajal9650: junior ☹️
Answered by Anonymous
2

Answer:

But I don't love u and don't want to talk with u...

Leave me alone in my life...

And listen all boys are same

they only use the girls for time pass..

Similar questions