Hindi, asked by Sandra2003, 1 year ago

Pls ans........
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Answered by ramtanu51
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प्रत्येक रक्दान किसी ना किसी इंसान के लिए जीवन का उपहार है। बीमार लोगों को रक्तदान के माध्यम से नया जीवन दिया जाता है। खून हमारे पूरे शरीर में लाल रंग का तरल पदार्थ है जो जीवनदायी है। खूनदान की इस महत्ता को देखते हुए हर वर्ष 1 अक्टूबर को पूरे भारत में और 14 जून को विश्वभर में रक्तदान दिवस मनाया जाता है। इस दिन बहुत सारे रक्तदान कैंप लगाये जाते हैं यहां पर ज्यादातर लोगों को खून दान के लिए प्रोत्साहित किया जाता है ताकि ज्यादा लोगों को रक्तदान के प्रति जागरूकता बढ़ सके। हम कभी कभी गंभीर हालत में बीमार पड़ जाते हैं तो इससे हमारे शरीर में खून की कमी हो जाती है। तभी स्वस्थ मनुष्य के शरीर से खून लेकर बीमार आदमी को चढ़ाया जाता है ताकि वह उसके लिए जीवनदायी बन सके।

विशेषज्ञों के अनुसार 18 वर्ष से 65 वर्ष तक का कोई भी स्वास्थ्य आदमी और जिसका वजन लगभग 45 किलोग्राम से ऊपर हो तीन महीने के अंतराल के बाद खूनदान कर सकता है। रक्तदान कोई मुश्किल काम नहीं होता बल्कि इससे शरीर को कोई नुक्सान भी नहीं पहुंचता और ना ही किसी प्रकार की कमज़ोरी होती है बल्कि निकाले गए खून की जगह कुछ दिनों के बाद नया खून बन जाता है इसीलिए हर वर्ष बहुत सारे खूनदान कैंप लगाए जाते हैं डोनेट किये हुए खून (Donate Blood) को ब्लड बैंक में जमा कर दिया जाता है जब किसी मरीज को खून की जरूरत पड़ती है तो उसे ब्लड बैंक से निकालकर दे दिया जाता है।

इसीलिए कहा गया है के खूनदान (Blood Donation) महादान है क्योंकि डोनेट किया गया खून किसी मरीज की जान बचाता है इसीलिए हम सभी को रक्तदान अवश्य करना चाहिए। रक्तदान महादान


Sandra2003: pls make it short
ramtanu51: aur short??
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