poem on happiness in hindi
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Answer:
इस साल कर लो जी भर के मस्ती,
होती नहीं है ये इतनी सस्ती,
जी लो फिर से अपना बचपन,
जब लगता था अपनों में अपनापन ।
इस साल मुस्कुरा लो जी भर कर,
और रो लो मन भर कर,
गुस्सा कर लो अपने हरकत पर,
और उठो हस्ते हस्ते, अपने गिरने पर ।
इस साल फिर से कर लो कए वादें खुद से,
और कर लो पूरी अपनी कई चाहते,
कह दो समय से की कर लो थोड़ा आराम,
और तुम भी बहने दो खुद को अपनों के नाम।
इस साल जी लो हर अपने सपने के जिद को,
छेड़ दो फिर से शरारतों को,
फिर से महसूस कर लो अपने जीत को,
भर लो सपनों से अपने इच्छाओं को,
इस साल फिर से अनुभव करो लो अपनी जीत को।
Answer:
The poem of happiness in Hindi.....
क्यूँ उदास बैठे हो,
क्या कमी है,
हमेशा खुश रहो,
यही जिंदगी है ।
रंग भरो अपने जीवन में,
आगे आगे चलते रहो,
खुश रहो हमेशा कुछ भी हो,
पथ पर अपने बढ़ते रहो।
ख़ुशी नहीं किसी वस्तु में,
ना ही किसी आधार में,
खुद से खुश हो जाना तुम,
खुशियां ढूंढों प्यार में ।
नफरत की भाषा तुम भूलो,
सबको प्यार बाटों तुम,
राह दिखाओ आगे सबको,
हँसाओ सबको, रहो ना गुम।
इस जीवन का यही है मतलब,
आगे बढ़ते जाना है,
खुश रहना और प्यार बाँटना,
यही सबको समझाना है
Explanation:
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