poems on swach jal in hindi
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कभी जल की महत्ता को, “बयाँ” हम कर नहीं सकते. प्राणों की रक्षा के खातिर, याद रखे हर बार, बचायें पानी की जलधार, यही है जीवन का आधार. ये है प्यासे की दरकार, बचायें पानी की जलधार.
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