Hindi, asked by atulranjan9357, 1 year ago

praman patra for hindi project on topic suchna ka adhikaar

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Answered by pratyasha9187
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सूचना का अधिकार
यदि कोई आरटीआई आवेदक किसी सरकारी विभाग या मंत्रालय से मांगी गई सूचनाओं से संतुष्ट नहीं है या उसे सूचनाएं नहीं दी गईं हैं तो अब उसे केन्द्रीय सूचना आयोग के दफतरों में भटकने की जरूरत नहीं है। अब वह सीधे सीआईसी में ऑनलाइन द्वितीय अपील या शिकायत कर सकता है। सीआईसी में शिकायत के लिए वेबसाइट http://rti.india.gov.in में दिया गया फार्म भरकर सबमिट पर क्लिक करना होता है। क्लिक करते ही शिकायत या अपील दर्ज हो जाती है।

भारत सरकार ने ई गवरनेंस और शासन में पारदर्शिता लाने के उद्देश्य से केन्द्र के सभी मंत्रालयों से संबंधित सूचनाएं अपनी वेबसाइट पर उपलब्ध करा दी थी लेकिन इसके साथ ही अब वेबसाइट के माध्यम से केन्द्रीय सूचना आयोग में शिकायत या द्वितीय अपील भी दर्ज की जा सकती है। इसके अतिरिक्त अपील का स्टेटस भी देखा जा सकता है। सीआईसी में द्वितीय अपील दर्ज कराने के लिए वेबसाइट में प्रोविजनल संख्या पूछी जाती है। सरकार की इस पहल को सरकारी कार्यों में पारदर्शिता और जवाबदेयता की ओर एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है।

सूचनाओं को ऑनलाइन करने के पीछे यह मान्यता है कि देश के सभी नागरिक सरकार को कर देते हैं, इसलिए सभी नागरिकों को समस्त सरकारी विभागों से सूचनाएं प्राप्त करने का अधिकार है। देश में सूचना का अधिकार आने के बाद लगातार मांग की जा रही थी कि सभी सरकारी सूचनाएं ऑनलाइन होनी चाहिए ताकि नागरिकों को सूचनाएं प्राप्त करने में दिक्कतों का सामना न करना पडे़। साथ ही आरटीआई आवेदन एवं अपीलों को ऑनलाइन करने की व्यवस्था की भी जरूरत महसूस की गई जिससे सूचना का अधिकार आसानी से लोगों तक अपनी पहुंच बना सके और आवेदक को सूचना प्राप्त करने में ज्यादा मशक्कत न करनी पड़े।





सूचना का अधिकार अधिनियम 2005 के उपयोग हेतु मार्गदर्शिका विषयवस्तु

भूमिका

भाग 1 :

“सूचना का अधिकार” क्या है?

भाग 2 :

सूचना का अधिकार मेरी मदद कैसे कर सकता है?

भाग 3 :

मैं किससे सूचनाएँ ले सकती/सकता हूँ?


अधिनियम के दायरे में कौन सी संस्थाएँ आती हैं?


मैं संस्था में किससे सम्पर्क करूं जिसके पास सूचनाएँ हों?

भाग 4 :

मैं कौन सी सूचनाएँ हासिल कर सकती/सकता हूँ?


कौन सी सूचनाएँ सुलभ हैं?


क्या ऐसी सूचनाएँ हैं जो आम तौर पर नहीं मिलेंगी?

भाग 5 :

कौन सी सूचनाओं को स्वैच्छिक रूप से प्रकाशित करना जरूरी है?


वे सूचनाएँ जो भागीदारी और निगरानी को बढ़ावा दें


वे सूचनाएँ जो जवाबदेह निर्णय प्रक्रिया को बढ़ावा दें

भाग 6 :

मैं सूचनाओं के लिये आवेदन/निवेदन कैसे करूं?


चरण 1 : उस लोक प्राधिकरण की पहचान करें जिसके पास सूचना है


चरण 2 : लोक प्राधिकरण में उस अधिकारी की पहचान करें जिसे सूचना के लिए आवेदन सौंपा जाना है


चरण 3 : वांछित सूचना के बारे में एक सुस्पष्ट आवेदन तैयार करें


चरण 4 : अपना आवेदन जमा करें


चरण 5 : आवेदन पर फैसले का इंतजार करें

भाग 7 :

मेरे आवेदन पर फैसला कैसे किया जाएगा?


अगर लोक सूचना अधिकारी मेरे आवेदन को मंजूर करे तो?


अगर लोक सूचना अधिकारी मेरे आवेदन को रद्द कर दे, तो क्या करना होगा?


फ्लो चार्ट 1 : आवेदन प्रक्रिया

भाग 8 :

अगर मुझे निवेदित सूचना नहीं मिलती, तो क्या करूं?


विकल्प 1 – अपील करें


पहली अपील, अपील प्राधिकारी से


सूचना आयोग को दूसरी अपील


विकल्प 2 – शिकायत करें


विकल्प 3 – अदालत में अपील करें


फ्लो चार्ट 2 : अपील प्रक्रिया

भाग 9 :

मैं सूचना के अधिकार को बढ़ावा देने के लिये क्या कर सकती/सकता हूँ?

परिशिष्ट

परिशिष्ट 1 : सूचना का अधिकार अधिनियम 2005 – हिन्दी पाठ


परिशिष्ट 2 : शुल्क नियम – तुलनात्मक तालिका


परिशिष्ट 3 : अपील के नियम


परिशिष्ट 4 : सूचना आयोग – संपर्क विवरण


परिशिष्ट 5 : संसाधन तथा संपर्क-सूत्र



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