Q. 1. (क) पत्र का आशय स्पष्ट करते हुए, पत्र के प्रकार
लिखिए।
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Answer:
पत्र का आशय /पत्र का अर्थ है---- ऐसा कागज जिस पर कोई बात लिखी या छपी हो पत्र के द्वारा व्यक्ति अपनी बातों को दूसरों तक सरलता पूर्वक पहुंचाता है...| हम पत्र को अभिव्यक्ति का एक सशक्त माध्यम भी कर सकते हैं
पत्र लेखन- एक कला है पत्र लिखते समय पत्र में सहज सरल तथा सामान्य बोलचाल की भाषा का प्रयोग करना चाहिए जिससे पत्र को प्राप्त करने वाला प्राप्तकर्ता पत्र में लिखी भाव को अच्छी तरह से अच्छे प्रकार से समझ सके |
जिन बातों को लोग कहने में किसकीचाहते हैं ,उन बातों को पत्रों के माध्यम से आसानी से समझाया जा सकता है |
पत्र के प्रकार. :- पत्र लेखन मुख्यतः दो प्रकार के होते हैं :- (1) अनौपचारिक (2) औपचारिक | इन्हीं के आधार पर पत्रों के प्रकार का निर्धारण होता है......... |
(1) अनौपचारिक -पत्र- अनौपचारिक पत्र के अंतर्गत ऐसे सभी पत्रों को रखा जाता है जो परिवारिक सामाजिक वातावरण संबंधित होते हैं
इनके अंतर्गत सामाजिक-- पत्र, परिवारिक -पत्र और निजी -पत्र शामिल रहते हैं |
निजी पत्र बिल्कुल व्यक्तिगत संबंधों पर आधारित होने के कारण व्यक्ति निष्ठ होते हैं | ऐसे पत्रों को लिखने भेजने खोलने एवं पढ़ने का अधिकार किसी दूसरे व्यक्ति को नहीं होता है भले जी व परिवार का सदस्य हों अथवा घनिष्ठ हो इन पत्रों में प्रेमी प्रेमिका पति पत्नी गुरु शिष्य पिता का पत्र पुत्र या पुत्री को माता का पत्र पुत्र या पुत्री को पुत्र पुत्री का पत्र माता या पिता को ससुर का पत्र जमा दिया पुत्र वधू के शादी का पत्र जीजा को भाई का पत्र बड़े या छोटे भाई अब बड़ी छोटी बहन के नाम बहन का पत्र बड़े छोटे भाई अब बड़ी बहन छोटी बहन के नाम बहन का पत्र बड़े छोटे भाई अब बड़ी छोटी बहन के नाम व सहेली का नाम पत्र बिल्कुल व्यक्तिगत होने की स्थिति में निजी पत्र कैसे जाएंगे|
पारिवारिक और सामाजिक पत्रों को परिवार के किसी भी सदस्य द्वारा पढ़ा जा सकता है क्योंकि ऐसे पत्र पूरे परिवार के लिए होते हैं इन पत्रों में परिवारिक ता सहभागिता विश्वास एवं निकटता का भाव रहता है जबकि निजी पत्रों में व्यक्ति परखता गोपनीयता और प्रगाढ़ता का भाव रहता है|
(2) औपचारिकता पत्र-
औपचारिकता पत्र दो प्रकार के होते हैं :-(1) आना अधिकारी (2) अधिकारी |
(1) आना अधिकारी औपचारिक पत्र:-
एक राष्ट्रीय प्रदेश जनपदीय स्थानीय नागरिक के रूप में विविध कारणों से लिखे जाने वाले पत्र आला अधिकारी औपचारिक पत्र कहलाते हैं | जैसे:- राशन कार्ड बनवाना गैस कनेक्शन मंगाना नियंत्रित मूल्य पर सीमेंट प्राप्त करना सरकारी क्वार्टर मांगना कोई पुस्तक मांगा ना आदि कारणों से लिखे जाने वाले पत्र तथा किसी घटना या दुर्घटना से पीड़ित होकर समाचार पत्र के संपादक या प्रशासनिक अधिकारी को लिखे जाने वाले पत्र आना अधिकारी औपचारिक पत्र कहलाते हैं |
(2) अधिकारी औपचारिक -पत्र-
व्यापारी कृषक कर्मचारी अधिकारी के रूप में अपनी पहचान को वरीयता देने या दायित्व के निर्वाह के लिए आधिकारिक रूप से लिखे गए पत्र आधिकारिक औपचारिक पत्र कहलाते हैं | इनके अंतर्गत सरकारी अर्ध सरकारी और व्यवसायिक पत्र आते हैं | इनकी भाषा नपी- तुली स्पष्ट और निर्भय विवादित रहती है| इनमें उद्देश्य की स्पष्टता अति आवश्यक होती है| इन पत्रों को लिखते समय मर्यादाओं को ध्यान में रखते हुए विषय वस्तु एवं शैली की औपचारिकताओं का निर्वाह करना अनिवार्य होता है |
Answer:
Concept:
एक व्यक्ति द्वारा भावना रूपी शब्दों के संग्रह को दूसरे व्यक्ति के समक्ष लिखकर प्रकट किया जाता है, उसे पत्र कहा जाता है |
Find:
पत्र का आशय स्पष्ट करते हुए, पत्र के प्रकार लिखिए।
Given:
पत्र का आशय स्पष्ट करते हुए, पत्र के प्रकार लिखिए।
Explanation:
पत्र -
एक व्यक्ति द्वारा भावना रूपी शब्दों के संग्रह को दूसरे व्यक्ति के समक्ष लिखकर प्रकट किया जाता है, उसे पत्र कहा जाता है | एक पत्र के द्वारा अपनी बात व्यक्ति विशेष तक पहुँचायी जाती है, जिसके बाद पत्र ग्रहण करने वाले व्यक्ति के द्वारा इसका उत्तर पत्र के माध्यम से दिया जाता है | पत्र को चिट्ठी भी कहा जाता है|
पत्र के प्रकार-
पत्र मुख्यतः दो प्रकार के होते है
( 1 ) औपचारिक पत्र - इन पत्रों का उपयोग औपचारिक संचार के लिए किया जाता है। एक निश्चित औपचारिकता और निर्धारित पैटर्न का पालन करने वाले पत्र को औपचारिक पत्र कहते हैं।
इस प्रकार के पत्र में हमेशा कार्यालय के दिशा-निर्देशों और औपचारिकताओं का कड़ाई से पालन करना पड़ता है। औपचारिक पत्रों की श्रेणी में आने वाले विभिन्न प्रकार के पत्र हैं
- व्यावसायिक पत्र
- आधिकारिक पत्र
- सामाजिक पत्र
- रोजगार पत्र
(2) अनौपचारिक पत्र - अनौपचारिक पत्र एक ऐसे पत्र को कहते है जो औपचारिक नियम का पालन नहीं करता है और इसमें व्यक्तिगत जानकारी शामिल होती है। इसे व्यक्तिगत पत्र के रूप में भी जाना जाता है। इस प्रकार का पत्र आम तौर पर दोस्तों या परिवारों को भावनाओं, समाचारों आदि को साझा करने के लिए लिखा जाता है। इन पत्रों के लिखने का कोई ठोस कारण हो भी सकता है और नहीं भी।
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