राजस्थान राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण पर लेख लिखिए।
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Explanation:
समान अवसर के आधार न्याय सुलभ कराने को सुनिश्चित करने के लिये भारत सरकार द्वारा विधिक सेवा प्राधिकरण अधिनियम, 1987 पारित किया गया जिसके द्वारा केन्द्र में राष्ट्रीय विधिक सेवा समिति एवं जिलों में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण का गठन किया गया।
लेख विस्तार से नीचे दिए गये है |
Explanation:
राजस्थान सरकार ने उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश के परामर्श से राजस्थान राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण नियम, 1995 को तैयार किया और इस प्राधिकरण ने विधिक सेवा के प्रावधान को प्रभावी करने के लिए राजस्थान राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण विनियम, 1999 को भी तैयार किया। प्राधिकरण अधिनियम, 1987 (1987 का अधिनियम नंबर 3)। राजस्थान राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण 07.07.1998 को राज्य सरकार द्वारा जारी अधिसूचना द्वारा अस्तित्व में आया।
कानूनी सहायता न्याय प्रशासन का एक अनिवार्य हिस्सा है। "सभी के लिए न्याय तक पहुँच" प्राधिकरण का आदर्श वाक्य है। लक्ष्य समाज के कमजोर वर्गों, विशेष रूप से गरीब, दलित, सामाजिक रूप से पिछड़े, महिलाओं, बच्चों, विकलांगों आदि के लिए न्याय को सुरक्षित करना है, लेकिन यह सुनिश्चित करने के लिए कदम उठाए जाने की आवश्यकता है कि कोई भी न्याय की तलाश करने के अवसर से वंचित न रहे। केवल धन के अभाव या ज्ञान की कमी के लिए। यह सुनिश्चित करने के लिए प्राधिकरण राजस्थान के विभिन्न हिस्सों में कानूनी साक्षरता और जागरूकता शिविरों का आयोजन करता है।