Hindi, asked by raimunnalal81, 6 months ago

संगीत का संगीत का प्रभाव मनोज पर कैसे पड़ता है आंसर​

Answers

Answered by MissMiracle12
13

Answer:

\huge{\underline{\mathtt{\red{A}\pink{N} \green{S}\blue{W} \purple{E}\orange{R}}}}

आधुनिक जीवनशैली में मानसिक दबाव से दिमाग पर काफी बुरा असर पड़ रहा है. इसके परिणामस्वरूप हम खुद में एकाकी महसूस कर मानसिक रोगों के गिरफ्त में आते जा रहे हैं. दिमाग को चुस्त रखने के लिए निश्चित समय पर विश्राम के साथ मनोरंजन भी मानसिक स्वस्थ्य के लिए महत्वपूर्ण होता है. बढ़ती उम् का दबाव हो या किशोरावस्था का प्रतिबल, प्रत्येक प्रकार की चिंता को कम करके संगीत मस्तिष्क में कंपन कर शांति प्रदान करता है.

भारतीय शास्त्रीय संगीत के सा, रे, ग, म, प, ध, नी, सा सरगम की ध्वनि तीनों सप्तक कोमल तीव्र स्वरों की तुलना आप झरनें, पवन, कोयल, मोर, पेड़-पौधे, पशु-पक्षियों के प्राकृतिक मधुर संगीत आदर के साथ कर सकते हैं. भारतीय संगीत गायन, वादन, नृत्य हो या फिर प्राकृतिक संगीत सभी में सात सुरों के सरगम का समावेश होता है.

मनोचिकित्सा के अतिरिक्त संगीत व्यक्ति के मन:स्थिति को ठीक करके जीवन की गुणवत्ता में भी सुधार करता है. संगीत नकारात्मक विचारों को साफ करके नई सकारात्मक ऊर्जा द्वारा उमंग के साथ जीवन जीने के लिए प्रेरित करता है.

संगीत मनो चिकित्सा द्वारा आज क्रोध, ईर्ष्या, शोक आदि संज्ञानात्मक संवेगों को परिवर्तित करता है. शारीरिक व मानसिक समस्याओं से संगीत द्वारा जीवन जीने की इच्छा बढ़ जाती है.

━━━━▣◍✦✧✦◍▣━━━━

Explanation:

Answer by @Missmiracle12 ❤️

Answered by kalai0327kd
0

Answer:

आधुनिक जीवनशैली में मानसिक दबाव से दिमाग पर काफी बुरा असर पड़ रहा है. इसके परिणामस्वरूप हम खुद में एकाकी महसूस कर मानसिक रोगों के गिरफ्त में आते जा रहे हैं. दिमाग को चुस्त रखने के लिए निश्चित समय पर विश्राम के साथ मनोरंजन भी मानसिक स्वस्थ्य के लिए महत्वपूर्ण होता है. बढ़ती उम् का दबाव हो या किशोरावस्था का प्रतिबल, प्रत्येक प्रकार की चिंता को कम करके संगीत मस्तिष्क में कंपन कर शांति प्रदान करता है.

भारतीय शास्त्रीय संगीत के सा, रे, ग, म, प, ध, नी, सा सरगम की ध्वनि तीनों सप्तक कोमल तीव्र स्वरों की तुलना आप झरनें, पवन, कोयल, मोर, पेड़-पौधे, पशु-पक्षियों के प्राकृतिक मधुर संगीत आदर के साथ कर सकते हैं. भारतीय संगीत गायन, वादन, नृत्य हो या फिर प्राकृतिक संगीत सभी में सात सुरों के सरगम का समावेश होता है.

मनोचिकित्सा के अतिरिक्त संगीत व्यक्ति के मन:स्थिति को ठीक करके जीवन की गुणवत्ता में भी सुधार करता है. संगीत नकारात्मक विचारों को साफ करके नई सकारात्मक ऊर्जा द्वारा उमंग के साथ जीवन जीने के लिए प्रेरित करता है.

संगीत मनो चिकित्सा द्वारा आज क्रोध, ईर्ष्या, शोक आदि संज्ञानात्मक संवेगों को परिवर्तित करता है. शारीरिक व मानसिक समस्याओं से संगीत द्वारा जीवन जीने की इच्छा बढ़ जाती है.

Similar questions