Hindi, asked by yogeshkalpana1997, 8 months ago

संक्षेपण और पल्लवन में क्या अंतर है​

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Answered by shishir303
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➲ संक्षेपण और पल्लवन में अंतर...

संक्षेपण से तात्पर्य किसी निबंध, लेख, गद्य, अवतरण अथवा किसी भी अन्य गद्यात्मक रचना के संक्षिप्त रूप से है। किसी भी निबंध, लेख आदि के सार यानी सारांश को संक्षेपण कहा जाता है। संक्षेपण किस किसी भी निबंध लेख आदि का एक-तिहाई भाग होता है। दूसरे अर्थो में कहें तो संक्षेपण से तात्पर्य किसी विस्तृत विवरण, व्याख्या, वक्तव्य, निबंध, लेख आदि के संक्षिप्त और सार्थक रूप को संक्षेपण कहते हैं, जिसमें अप्रासंगिक, अनावश्यक, अनुपयोगी, गैर-तथ्यात्मक बातों को हटाकर केवल महत्वपूर्ण बातों और तथ्यों को ही रखा जाता है।

‘पल्लवन‘ हिंदी गद्य की वो विधा है जिसमें किसी विषय वस्तु को एक अलग दृष्टिकोण से प्रस्तुत कर उसे एक विस्तृत रूप से विवेचन किया जाता है। वो विषय वस्तु कोई मुहावरा, लोकोक्ति या कोई सामयिक घटना भी हो सकती है।’ किसी बात को विस्तारित रूप से कहने की विधा पल्लवन कहलाती है।

निष्कर्ष ⦂

✎... संक्षेपण से तात्पर्य किसी बात को संक्षिप्त रूप में कहने से है। किसी भी गद्य निबंध आदि का संक्षिप्त रूप ही संक्षेपण है। जबकि पल्लवन से तात्पर्य किसी बात को विस्तारित रूप में कहने से है। किसी लोकोक्ति, मुहावरे गद्य की पंक्तियों को विस्तारित रूप में कहने की विधा पल्लवन कहलाती है।

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